________________
१, ४, २१] फोसणाणुगमे गदिमग्गणा
[ १०५ पंच चोद्दसभागा वा देसूणा ॥ १४ ॥
उन्हीं सासादनसम्यग्दृष्टि नारकियोंने अतीत कालकी अपेक्षा कुछ कम पांच बटे चौदह भाग स्पर्श किये हैं ॥ १४ ॥
सम्मामिच्छादिहि-असंजदसम्मादिट्ठीहि केवडियं खेत्तं फोसिदं ? लोगस्स असंखेज्जदिभागो ॥ १५ ॥
___सम्यग्मिध्यादृष्टि और असंयतसम्यग्दृष्टि नारकी जीवोंने कितना क्षेत्र स्पर्श किया है ? लोकका असंख्यातवां भाग स्पर्श किया है ॥ १५ ॥
पढमाए पुढवीए णेरइएसु मिच्छाइटिप्पहुडि जाव असंजदसम्मादिट्ठीहि केवडियं खेत्तं फोसिदं ? लोगस्स असंखेज्जदिभागो ॥ १६ ॥
प्रथम पृथिवीस्थ नारकियोंमें मिथ्यादृष्टि गुणस्थानसे लेकर असंयतसम्यग्दृष्टि गुणस्थान तक नारकी जीवोंने कितना क्षेत्र स्पर्श किया है ? लोकका असंख्यातवां भाग स्पर्श किया है ॥ १६ ॥
विदियादि जाव छट्ठीए पुढवीए गैरइएसु मिच्छादिद्वि-सासणसम्मादिट्ठीहि केवडियं खेत्तं फोसिदं ? लोगस्स असंखेज्जदिभागो ॥ १७ ॥
द्वितीय पृथिवीसे लेकर छठी पृथिवी तक प्रत्येक पृथिवीके नारकियोंमें मिथ्यादृष्टि और सासादनसम्यग्दृष्टि जीवोंने कितना क्षेत्र स्पर्श किया है ? लोकका असंख्यातवां भाग स्पर्श किया है ।
एग वे तिण्णि चत्तारि पंच चोदसभागा वा देसूणा ॥ १८ ॥
मारणान्तिकसमुद्धात और उपपादगत उक्त नारकी जीवोंने अतीत कालकी अपेक्षा यथाक्रमसे चौदह भागोमेंसे कुछ कम एक, दो, तीन, चार और पांच भाग स्पर्श किये हैं ॥ १८ ॥
सम्मामिच्छादिट्ठि-असंजदसम्मादिट्ठीहि केवडियं खेत्तं फोसिदं ? लोगस्स असंखेज्जदिभागो ॥ १९ ॥
द्वितीय पृथिवीसे लेकर छठी पृथिवी तक प्रत्येक पृथिवीके सम्यग्मिथ्यादृष्टि और असंयतसम्यग्दृष्टि नारकी जीवोंने कितना क्षेत्र स्पर्श किया है ? लोकका असंख्यातवां भाग स्पर्श किया है।
सत्तमीए पुढवीए णेरइएसु मिच्छादिट्ठीहि केवडियं खेत्तं फोसिदं ? लोगस्स असंखेज्जदिभागो ।। २० ।।।
सातवीं पृथिवीस्थ नारकियोंमें मिथ्यादृष्टि जीवोंने कितना क्षेत्र स्पर्श किया है ? लोकका असंख्यातवां भाग स्पर्श किया है ॥ २० ॥
छ चोदसभागा वा देसूणा ॥ २१ ।।
सातवीं पृथिवीके मारणान्तिकसमुद्घात और उपपादगत मिथ्यादृष्टि नारकियोंने अतीत छ. १४
Jain Education International
For Private & Personal Use Only
www.jainelibrary.org