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प्रश्नयाकरणसूत्रे
वर्त्ताः = श्रीकन्दलकाः आवर्त्ताच उभे सजातीया एकखुरजीवविशेषाः, 'कोकंतिय' कोकंतिकाः = लोमटका : 'लोमड़ी' इति भाषायाम्, 'गोकष्ण गोकर्णाः द्विखुर 'चतुष्पदजन्तुविशेषाः, 'मिय' मृगाः, 'महिस' महिषाः, 'वियग्ध' व्याघ्राः, 'छगला' अजा: 'दीविय' द्वीपिका : 'दीपडा' इति भाषायाम्, 'साण' श्वानः= आटव्याः कुक्कुराः 'तरच्छ' तरक्षाः, अच्छभल्लाः- भल्लूक जातिविशेषाः 'सल शार्दूलाः = 'सीह' सिंहाः, 'चिल्लला' चित्रका: - श्वापदजन्तुविशेषाः । एषां द्वन्द्व समासः । 'चउप्पयविहाणाकए य एवमाई ' चतुष्पदविधानाः कृताः तां एवमादीन = चतुष्पद विशेषान् कुरङ्गादीन घ्नन्तीति परेण योजना | ०७|| जानवर है - जो रात को “ हुआ हुआ" बोला करता है। (कोल) कोलशूकर एवं (मज्जार) मार्जार ये हिंसक जानवर हैं। (कोलसुणह) " कोल शूकर" ये शूकर के ही भेद हैं और सामान्य शूकर की अपेक्षा शरीर में विशाल होता है । (सिरिकंदलगावत्त) श्रीकन्दलक और आवर्त्त ये भी जानवर हैं और इनके एक खुर होता है। इन दोनों की जाति समान होती है। (कोकंतिय) कोकंतिका नाम लोमड़ी का है, यही बड़ी चालाक होती है । ( गोकण) गोकर्ण एक प्रकार का जानवर होता है, इसके दो खुर होते हैं, और पैर चार होते हैं । (मिय) मृग, (महिस) महिष, ( वियग्ध ) व्याघ्र यह हिंसक जीव है और सिंह जैसा ही होता है। (छगल) बकरा बकरी का नाम अज है । (दीविय) द्वीपिका यह भी मांसभक्षी शिकारी जानवर है, इसे तेंदुआ कहते हैं । ( साण ) जंगली जो कुत्ते हैं जिन्हें शुनी - कुत्ता कहा जाता है वे यहां " साण " शब्द से गृहीत हुए हैं । (तरच्छ) तरक्ष, (अच्छभल्ल) अच्छभल्ल, यह रीछों का ही
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શ્રૃંગાલ ’ એક જંગલી પ્રાણી છે, જે રાત્રે “ હુઆ હુ " मोसे छे. तेने शुभराती मां शियाण उडे छे. "कोलसुण " अस-शूअर मने “मज्जार” भार હિંસક જાનવરો છે. “ કાલ શુકર ” તે શૂકરના જ ભેદ છે, અને તે સામાન્ય शूर डरता शरीरे भोटु' होय छे, “सिरिकंदलगावत्त" श्रीउन्हसम् माने यावत्तं પણ જાનવરે છે અને તેમને એક ખરી હાય છે. તે અને સમાન જાતિનાં છે. "कोकंतिय" बोडीने अति उहे छे, ते धाी न्यासा होय छे. " गोकण्ण " गो मे अारनुं पशु छे. "मिय" भृग "महिस" महिष मने “वियग्ध,” व्याघ्र हिंसा आशीयो छे भने ते सिंह नेवा ४ होय छे. "छगल" मरा अम्रीने अन्न उहे छे. “दोविय" द्वीपि मांसाहारी शिअरी पशु छे. तेने तें हुआ
छे. ते चित्ता होय छे. भगदी इतरागाने शुनी हुत्ता उछे, मोण " शब्दथी भड़ीं ते भगती इतराम समन्वाना छे, "तरच्छ अच्छ
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