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उदग्रंथ
उदग्रंथ - I सं० (वि०) खुला हुआ, मुक्त II (पु० ) 1 अध्याय 2 धारा
उदग्रहण-सं० (पु०) कर आदि वसूलना उदग्रहणीय-सं० (वि०) उद्ग्रहणयोग्य उद्घाह-सं० (पु० ) 1 ऊपर उठाना 2 ऊपर लाना 3 वसूली 4 आपत्ति 5 तर्क
उदग्रीव - I सं० (वि०) जो गला ऊपर उठाये हो II ( क्रि० वि०) गर्दन ऊपर उठाये हुए
उद्घट्टन - सं० (पु० ) 1 खोलना 2 उन्मोचन 3 रगड़ उद्घाट-सं० (पु० ) ( चुंगी के लिए) माल खोलकर दिखाने का स्थान, चौकी
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उद्घाटक -सं० (वि०) उद्घाटन करनेवाला उद्घाटन - सं० (पु० ) 1 खोलना, आवरण हटाना 2 शुभांरभ उद्घाटित-सं० (वि०) 1 आवरण हटाया हुआ, अनावृत्त 2 जिसका उद्घाटन हुआ हो
उद्घात -सं० (पु० ) 1 आघात 2 आरंभ 3 पुस्तक का अध्याय 4 धक्का
उद्घातक, उद्घाती-सं० (वि०) 1 आघात करनेवाला 2 आरंभ करने वाला 3 धक्का मारनेवाला उद्घष्ट-सं० (वि०) उद्घोषित
उद्घोष -सं० (पु० ) 1 ऊँची आवाज़ में कहना 2 घोषणा उद्घोषक -सं० (वि०) घोषणा करनेवाला उद्घोषणा -सं० (स्त्री०) 1 सरकारी घोषणा 2 चिल्लाहट उद्घोषित - सं० (वि०) 1 घोषणा की गई 2 कही हुई उद्दंड-सं० (वि०) अक्खड़, निडर । ~ता (स्त्री०) अक्खड़पन निडरता
उद्दम -सं० ( पु० ) 1 दमन 2 वश में करना
उद्दर्शन -सं० (पु० ) 1 दर्शन कराना 2 स्पष्ट करना उद्दांत-सं० (वि०) 1 अति दमित 2 विनम्र 3 उत्साही उद्दाम - I सं० (वि०) 1 बंधन हीन, स्वतन्त्र 2 निरंकुश II (पु० ) यम, वरुण, एक वृत्त
उद्दिष्ट - I सं० (वि०) 1 चाहा हुआ 2 बताया हुआ 3 संकेत किया हुआ II (वि० ) (पु०) आज्ञा बिना वस्तु का किया जानेवाला भोग
उद्दीपक-सं० (वि०) 1 उत्तेजित करनेवाला 2 प्रज्वलित करनेवाला
उद्दीपन-सं० ( पु० ) 1 उत्तेजित करना 2 प्रज्वलित करना 3 जगाना 4 ( साहि०) रस का पोषण वर्द्धन करनेवाला तत्त्व या पदार्थ
उद्दीप्त-सं० (वि०) 1 प्रज्वलित किया हुआ 2 चमकता हुआ 3 उत्तेजित किया हुआ
उद्देश - सं० ( पु० ) 1 संकेत करना 2 ध्यान रखना 3 कारण 4 अभिप्रायः, इरादा
उद्भूति
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उद्धत - सं० (वि०) अक्खड़ 2 अविनीत 3 उत्तेजित 4 क्षुब्ध 5 घमंडी ~राष्ट्रवादी (पु०) अपने राष्ट्र की डींग मारनेवाला उद्धरण -सं० (पु० ) 1 उद्धार करना 2 ऊपर उठाना 3 मुक्ति, छुटकारा 4 लेख या ग्रंथ से गृहीत अंश चिह्न (पु० ) उद्धरण देने के लिए उलटे अल्प विराम चिह्न उद्धरणी सं० +हिं (स्त्री०) उद्घर्ष - I सं० (वि०) प्रसन्न उद्धर्ता सं० (पु०) उद्धार करनेवाला उद्धव-सं० (पु० ) 1 कृष्ण के मित्र 2 उत्सव 3 यज्ञ की आग उद्धस्त सं० (वि०) हाथ ऊपर उठाए हुए
पढ़े हुए पाठ को दोहराना II ( पु० ) प्रसन्नता
उद्धार -सं० (पु० ) 1 उबारना, मुक्त करना 2 ऊपर ले जाना। ~कर्त्ता (वि०) = उद्धारक; ~विक्रय (पु०) उधार बेचना उद्धारक -सं० (वि०) उद्धार करनेवाला, संकटमोचन उद्धारण-सं० (पु० ) 1 उद्धार करना 2 ऊपर उठाना उद्धित-सं० (वि०) ऊपर उठाया हुआ, उत्तोलित उद्धृत -सं० (वि०) 1 उबारा हुआ 2 पृथक् किया हुआ 3 लेख आदि से चुना हुआ
उद्धृतांश सं० (पु० ) = उद्धरण उदध्वंस-सं० (५०) विनाश
उद्ध्वस्त - सं० (वि०) 1 नष्ट किया हुआ 2 गिरा हुआ उदबुद्ध - सं० (वि०) 1 ज्ञान प्राप्त 2 जगाया हुआ 3 याद आया हुआ 4 प्रकट 5 प्रफुल्लित
उद्बोध-सं० (पु०) 1 जागना, जागरण 2 ज्ञान 3 फिर याद
उद्देशिका - सं० (स्त्री०) उद्देश्य बतानेवाली भूमिका उद्देश्य - I सं० (वि० ) 1 संकेत किये जाने योग्य 2 अभिप्रायः योग्य II ( पु० ) 1 प्रयोजन 2 ( व्या० ) कर्ता प्रधान ~ मूलक (वि०) उद्देश्य को लेकर किया हुआ; सिद्धि (स्त्री०) अभिप्रेत की प्राप्ति; हीन (वि०) निष्प्रयोजन उद्देष्टा - सं० (वि०) 1 इंगित करने वाला 2 लक्ष्य दृष्टि में रखकर काम करनेवाला
आना
उद्बोधक -सं० (वि०) 1 ज्ञान करानेवाला 2 उत्तेजित करनेवाला
उद्बोधन -सं० (पु० ) 1 जगाना 2 चेतना 3 उत्तेजना उद्बोधिता-सं० (स्त्री०) फुसलाई हुई नायिका उद्भट - सं० (वि०) 1 बहुत बड़ा 2 प्रचंड, प्रबल उद्भव -सं० (पु० ) 1 जन्म 2 उद्गम उद्भाव-सं० (पु० ) = उद्भावना
उद्भावक-सं० (वि०) 1 उद्भव करनेवाला, जन्मदाता 2 उद्भावना करनेवाला
उद्भावन (पु० ), उद्भावना-सं० (स्त्री०) 1 कल्पना 2 मन की अद्भुत सूझबूझ
उद्भावित सं० (वि०) उद्भव किया हुआ
उद्घास-सं०- (पु० ) 1 चमक 2 प्रकाश 3 शोभा उद्भासन-सं० ( पु० ) 1 चमकाना 2 प्रकट करना उद्भासित सं० (वि०) 1 प्रकाशित 2 चमकता हुआ 3 सुशोभित उद्भिज - I सं० ( वि०) 2 उगने वाला II (पु०) ( पु० ) वनस्पति उद्भिद - सं० (पु० ) उगनेवाला, वनस्पति । विद्या (स्त्री०) वनस्पति शास्त्र
1 धरती से बाहर निकलनेवाला पेड़ पौधे । विज्ञान शास्त्र
उद्भिन्न सं० (वि०) 1 विभक्त किया हुआ 2 तोड़ा - फोड़ा हुआ, खंडित 3 उत्पन्न
उद्भूत -सं० (वि०) 1 उत्पन्न 2 बाहर आया हुआ, प्रकट हुआ उद्भूति-सं० (स्त्री०) 1 उत्पत्ति 2 प्रकट होकर सामने आनेवाली वस्तु 3 उन्नति 4 विभूति