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श्लेषण
ढूढ़त फिरै कवि, कामी अरु चोर' में अनेक अर्थों में श्लेष है) 2 संयोग 3 आलिंगन 4 लगाव
श्लेषण-सं० (पु०) 1 संयोग करना, मिलाना 2 आलिंगन 3 साथ जोड़ना
श्लेषोपमा-सं० (स्त्री०) ऐसा श्लेष जिसका अर्थ उपमेय और उपमान दोनों में लग जाता है
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श्लेष्मा -सं० (पु० ) 1 बलगम 2 रस्सी, डोरी श्लोक-सं० ( पु० ) 1 संस्कृत का कोई छंद या पद्य 2 प्रशंसा, स्तुति 3 कीर्ति, यश । बद्ध (वि०) श्लोक रूप में आया हुआ
श्वपच - I सं० (वि०) कुत्ते का मांस खानेवाला II ( पु० ) चांडाल (जैसे- श्वपच कहीं का)
श्वशुर-सं० (५०) ससुर
श्वश्रू -सं० (स्त्री०) पति या पत्नि की माता, सास श्वसनसं० (पु० ) 1 साँस लेना 2 आह भरना । यंत्र (पु०) साँस दिलाने का उपकरण; ~ रंध्र (पु०) नाक का छेद श्वसित - सं० (वि०) 1 श्वासयुक्त 2 आह भरनेवाला श्वसुर - (पु० ) श्वशुर श्वान -सं० ( पु० ) कुत्ता। ~ निद्रा (स्त्री०) हलकी नींद श्वास-सं० (पु० ) 1 साँस 2 आह। ~गति (स्त्री०) श्वसन; ~तंत्र (पु० ) = श्वास प्रणाली; ~नलिका (स्त्री०) साँस लेने की नली ~ निरोध ( पु० ) = • श्वासावरोध; ~ प्रणाली (स्त्री०) साँस लेने की प्रक्रिया; ~प्रश्वास (पु०) साँस लेना और निकालना; ~ मार्ग (पु० ) = श्वास प्रणाली; यंत्र (पु० ) = श्वसन यंत्र; ~ रोधक (वि०) श्वास रोकनेवाला श्वासावरोध-सं० (पु०) दम घुटना श्वासोच्छ्वास - स० (पु० ) वेगपूर्वक साँस लेना और छोड़ना श्वित्र-सं० (पु०) सफ़ेद कोढ़
श्वेत-सं० (वि०) 1 उजला, धवल, सफ़ेदं 2 गोरा 3 निर्मल, ~ काक (पु० ) सफेद कौआ अर्थात् असंभव बात; कुष्ठ (पु०) चि० सफ़ेद कोढ़; कृष्ण (पु०) एक विषैला कीड़ा; ~ता (स्त्री०) सफ़ेदी, उज्जवलता; पत्र (पु० ) महत्त्वपूर्ण चर्चाओं से संबंधित प्रकाशित की गई राजकीय विज्ञप्ति; ~ प्रदर (पु० ) चि० स्त्री योनि से सफेद रंग का निकलनेवाला गाढ़ा और बदबूदार पानी का रोग, ल्यूकोरिया सार (पु० ) 1 जलांक 2 खटिर, खैर 3 सफ़ेद सत्त, स्टार्च श्वेतन -सं० ( पु० ) सफ़ेद करना श्वेतांग-सं० (वि०) गौरवर्ण का, गौरांग
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श्वेतांबर - सं० (पु० ) 1 सफ़ेद वस्त्र 2 एक प्रमुख जैन संप्रदाय श्वेताणु-सं० (पु० ) खून की सफ़ेद कणिकाएँ । वृद्धि (स्त्री०) चि० ( रोग के कारण) सफ़ेद कणिकाओं का बढ़
जाना
श्वेतिमा सं० (स्त्री०) शुभ्रता, श्वेतता
षोडशी
ष
खंड-सं० (पु०) 1 साँड़, बैल 2 नपुंसक 3 ढेर, राशि खंडत्व - सं० (५०) नपुंसकता षकार -सं० (पु०) 'ष' वर्ण
षट् - I सं० (वि०) पाँच से एक अधिक II (पु० ) छः का सूचक अंक । ~कर्म (पु० ) यजन, याजन, अध्ययन, अध्यापन, दान और प्रतिग्रह ये छः कर्म; कोण (वि०) 1 छः कोणवाला 2 छपहला ; ~ कोणाकार (वि०) षट्कोण के आकार का चक्र (पु०) मूलाधार, स्वाधिष्ठान, मणिपूर, अनाहत, विशुद्ध और आज्ञा योग के ये छह चक्र; पद (वि०) छः पैरोंवाला; पदी (स्त्री०) छः पंक्तियों का श्लोक, भुज (पु०) जया० छः भुजाओंवाली आकृति; ~ रस (पु० ) मधुर, तीक्ष्ण, तिक्त, कटु, कषाय और अम्ल ये छः स्वाद; ~ वर्षीय (वि०) छः वर्ष का शास्त्र (पु० ) षड् दर्शन; शास्त्री (पु० ) षट्शास्त्र का ज्ञाता षडंग - सं० (पु० ) 1 शिक्षा, व्याकरण, निरुक्त, छंद, कल्प और ज्योतिष ये छः वेदांग 2 शरीर के दो हाथ, दो पैर सिर और धड़ ये छः अंग
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षड्-सं० (वि०) = षट्। ज (पु० ) संगीत के सात स्वरों में से पहला स्वर दर्शन (पु०) सांख्य, योग, न्याय, वैशेषिक, पूर्व मीमांसा और उत्तर मीमांसा ये छः दर्शन यंत्र (पु० ) 1 दुरभिसंधि 2 साजिश; यंत्र कर्ता (पु० ) षड्यंत्र करनेवाला व्यक्ति; यंत्र कारिनी (वि०) षड्यंत्र करनेवाली, यंत्रकारी (वि०) षड्यंत्र करनेवाला; रस (पु० ) मीठा, नमकीन, कडवा, तीता, कसैला और खट्टा ये छः रस; ~ रिपु (पु० ) काम, क्रोध, लोभ, मद, मोह और मत्सर ये छः शत्रु
षष्टि - I सं० (वि०) साठ II ( पु० ) साठ की संख्या (60) । पूर्ति (स्त्री०) साठ वर्ष का पूरा होना षष्ठ-सं० (वि०) छठा (जैसे-षष्ठ मंडल) षष्ठांश-सं० (पु०) छठा भाग
षष्ठी - सं० (स्त्री०) 1 पक्ष की छठी तिथि 2 संतानोत्पत्ति के दिन से छठा दिन
षाड्यंत्रिक-सं० (वि०) साज़िश का षाण्मासिक-सं० (वि०) 1 छः महीने की उम्र का 2 छः नास की अवधि का
षोडश - I सं० (वि०) सोलह II ( पु० ) 16 की संख्या । ~ कला (स्त्री०) अमृता, मानदा पूषा, पुष्टि, तुष्टि, रति, धृति, शातिनी, चंद्रिका, कांति, ज्योत्सना, श्री, प्रीति, अंगदा, पृषणा और पूर्णा चंद्रमा की ये सोलह कलाएँ; मातृका (स्त्री०) गौरी, पद्मा, शची, मेधा, सावित्री, विजया, जया, देवसेना, स्वधा, स्वाहा, शालि, पुष्टि, तुष्टि, मातृ तथा आत्मदेवता सोलह मातृ कलाओं का समूहः श्रृंगार (५०) उबटन, स्नान, वस्त्र धारण, केश प्रसाधन, अंजन, सिंदूर, महावर, तिलक, ठोड़ी पर तिल बनाना, मेंहदी, सुगंधित द्रव्य, आभूषण, पुष्पहार, पान और मिस्सी ये सोलह श्रृंगार षोडशी - I सं० (वि०) सोलह वर्ष की II (स्त्री०) सोलह वर्ष की युवती या कन्या