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निंदित
निंदित सं० (वि०) निंदा की गई निंदिया - (स्त्री०) नींद निंद्य-सं० (वि०) निंदनीय
निंब-सं० (पु० ) नीम निंबू - (पु० ) नीबू निंबोली - (पु० ) निबौरी निःकपट-सं० (वि०)
निष्कपट निः परिश्रम -सं० (वि०) बिना मेहनत का (जैसे- निः परिश्रम कारावास)
निःशंक - I सं० (वि०) निडर II ( क्रि० वि०) बिना डर के निःशक्त-सं० (वि०) शक्तिहीन, असमर्थ
निःशब्द - सं० (वि०) 1 बिना शब्द का, शब्द रहित 2 जिसमें शब्द, आवाज़ न हो
निःशब्दक-सं० (पु.) एक उपकरण जो यंत्र को शब्द करने से
रोकता है, साइलेंसर
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निःशुक्र - सं० (वि०) निरुत्साह, ओजहीन
नि: शुल्क - सं० (वि०) 1 शुल्करहित (जैसे- निःशुल्क शिक्षा) 2 शुल्क न देनेवाला (जैसे- निःशुल्क विद्यार्थी) निःशून्य-सं० (वि०) बिल्कुल खाली निःशेष-सं० (वि०) जिसमें कुछ भी न बचा हो, समाप्त निःशोक-सं० (वि०) शोकरहित
नि:शोध्य -सं० (वि०) 1 जिसका शोधन न किया जा सके 2 जो परिमार्जन योग्य न हो
निःश्रेणी -सं० (स्त्री०) सीढ़ी
निःश्वसन - I सं० ( पु०) साँस बाहर फ़ेंकना II (वि०) साँस बाहर निकालनेवाला
निःशस्तर-सं० (वि०) बिना हथियार का निहत्था निःशस्त्रीकरण - सं० (पु० ) हथियारों की होड़ खत्म करना | हथियारों को कम करना
नि:श्वास - सं० (पु० ) 1 साँस का बाहर आना 2 लंबी साँस
(जैसे- निःश्वास छोड़ना )
निःसंकोच -सं० ( क्रि० वि०) निस्संकोच निःसंख्य-सं० (वि० ) अनगिनत बे-शुमार निःसंग-सं० (वि० ) = निस्संग
निःसंतान-सं० (वि०) निस्संतान निःसंदिग्ध - सं० (वि०) निस्संदेह
निःसंदेह - I सं० (वि०) संदेहरहित II ( क्रि० वि०) 1 बिना
संदेह के 2 बेशक, अवश्य
निःसंधि-सं० (वि०) 1 संधिरहित 2 दृढ़, पक्का 3 कसा हुआ
नि:संबल - I सं० (वि०) 1 संबलहीन 2 असहाय II ( क्रि० वि०) बिना सहारे के
=
=
=
नि:संबाध-सं० (वि० ) 1 बड़ा 2 विस्तृत निःसंशय - I सं० (वि०) निःशंक II ( क्रि० वि०) संशय के बिना
निकलना
निःसीम सं० (वि०) 1 सीमारहित 2 अत्यधिक (जैसे- निःसीम सेवा)
निःसत्व-सं० (वि०) 1 थोथा, सारहीन 2 निःसार 3 बिना अस्तित्व का
निःसरण - सं० (पु० ) 1 बाहर आना 2 बाहर आने का रास्ता, निकास
निःसहाय -सं० (वि० ) निस्सहाय
त्रिःसृत-सं० (वि०) बाहर आया हुआ निःस्नेह-सं० (वि०) 1 बिना प्रेम का, स्नेहरहित 2 जिसमें तेल न हो
निःस्पृह-सं० (वि०) 1 इच्छा, कामना आदि से रहित 2 निःस्वार्थ भाषावाला (जैसे-निःस्पृह सेवक ) निःस्त्राव - सं० (पु० ) बहकर निकला हुआ अंश निःस्व-सं० ( पु० ) 1 अपनापन भूला हुआ व्यक्ति 2 निर्धन निःस्वाद-सं० (वि०) बिना स्वाद का निःस्वामिक-सं० (वि०) बिना स्वामी का, अनाथ निःस्वार्थ - I सं० (वि०) स्वार्थ साधन से मुक्त II ( क्रि० वि०) बिना स्वार्थ के
नि:स्वार्थी -सं० (पु०) स्वार्थहीन व्यक्ति निःस्वीकरण-सं० (पु० ) दरिद्र बनाना निआमत-अ० (स्त्री०) अलभ्य पदार्थ
निकंदन - I सं० ( पु० ) नाश, संहार II ( वि०) नाश करनेवाला, संहारकर्ता
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निकट - I सं० ( क्रि० वि०) 1 पास ही में 2 विचार में II (वि०) पास का (जैसे निकट संबंधी) । ~कालीन (वि०) पास के समय का; पना हिं० (स्त्री०) = निकटत्व, निकटता; ~वर्ती (वि० ) = निकटस्थ निकटत्व-सं० (पु०) समीप होने का भाव निकटस्थ - सं० (वि०) पास का नज़दीकी
निकम्मा - (वि०) 1 बिना काम का (जैसे निकम्मा आदमी) 2 व्यर्थ का, रद्दी (जैसे- निकम्मी वस्तु) । पन (पु० ) बेकारी निकर - I सं० ( पु० ) 1 झुंड, समूह (जैसे-रवि-कर-निकर) 2 ढेर, राशि ( क्रि० वि०) निकट निकर-अं० (पु० ) = निक्कर निकर्तन-सं० (पु०) 1 काटना 2 फाड़ना
निकर्मा - ( वि०) 1 कुछ काम न करनेवाला, अकर्मण्य 2 आलसी, निकम्मा
निकर्षण-सं० (पु०) खेल का मैदान 2 आँगन 3 पड़ोस निकल-अं० (स्त्री०) चाँदी जैसी सफ़ेद एक धातु निकलना - (अ० क्रि०) 1 बाहर आना, बाहर होना (जैसे- घर से निकलना) 2 प्रकट होना, उदित होना (जैसे- सूरज निकलना) 3 परिधि, मर्यादा, सीमा आदि से बाहर आना (जैसे-चोर जेल से निकल गया, कुएँ से पानी निकलना, संस्था आदि से निकलना) 4 उत्पन्न होना, विकसित होना (जैसे- नया कल्ला, कोंपल निकलना) 5 शरीर पर उत्पन्न होना, उभर आना (जैसे- चेचक निकलना) 6 पास होना (जैसे- वह दसवीं कक्षा से निकल गया) 7 बंधन आदि से रहित होना (जैसे-कमान से तीर निकलना) 8 उद्गम स्थान से बाहर आना (जैसे- अंडे से बच्चा निकलना) 9 रहस्योद्घाटन होना, उद्देश्य आदि का स्पष्टीकरण होना (जैसे- श्लोक का अर्थ निकलना, मुहूर्त निकलना) 10 नए सिरे से सामने आना (जैसे- खान से सोना निकलना, नया क़ानून निकलना) 11 उपयोग में आने योग्य होना (जैसे- नई सड़क निकलना) 12 प्रकाशित होना (जैसे- समाचार निकलना) 13 ज़िम्मे बाक़ी ठहराना