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चीवर
चीवर - सं० (पु० ) योगियों भिक्षुओं आदि के पहनने का वस्त्र, चादर आदि
चीवरी -सं० (पु० ) 1 चीवर पहननेवाला 2 भिक्षुक चुँगना - (स० क्रि०)
चुगना
चंगुल
चुँगल - (पु० ) चुँगाना - (स० क्रि०) चुगाना
चुंगी - ( स्त्री०) 1 महसूल (जैसे- माल ले जाने से पहले चुंगी देना) 2 चंगुल भर वस्तु। कचहरी (स्त्री०) नगर पालिका आदि का प्रधान कार्यालय; कानून + अ० (पु०) चुंगी देने के संबंध में बनाए गए नियम आदि; घर (पु० ) चुँगी कार्यालय; ~ नियम सं० (पु० ) चुँगी संबंधी कायदा
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चुंडी - (स्त्री०) चुंदरी - (स्त्री०)
क़ानून चुंगीवाला - ( पु० ) चुंगी लेनेवाला चुँघाना - I (स० क्रि०) 1 माँ का शिशु को अपना स्तन चूसने में प्रवृत्त करना 2 पशुओं का अपने बच्चों का थन पिलाना II (स० क्रि०) = चुगाना
चुंदी, शिखा
चुनरी
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चुंदी - I (स्त्री०) चोटी, शिखा
चुंदी - II सं० (स्त्री०) कुटनी, दूती
बुंधा - (वि०) 1 जिसे कुछ दिखाई न देता हो, अंधा 2 बहुत छोटी आँखोंवाला
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चुँधियाना - ( अ० क्रि०) चौधियाना चुंबक - I सं० (वि०) 1 चुंबन करनेवाला 2 कामुक II ( पु० ) 1 एक तरह का पत्थर जो लोहे को अपनी ओर खींचता है 2 अपनी ओर आकृष्ट करनेवाला व्यक्ति । ता (स्त्री०) आकर्षित करने का गुण
लोहा
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चुंबकत्व -सं० (पु०) चुंबक का गुण, आकर्षण । मापी (पु०) चुंबक की शक्ति मापने का यंत्र; लेखी + हिं० (पु०) चुबंक की शक्ति का रेखांकन करने का यंत्र; हिं० (पु० ) चुंबक का शक्तिवाला लोहा चुंबकीय - सं० (वि०) 1 चुंबक संबंधी 2 जिसमें चुंबक का गुण हो (जैसे- उसकी सुंदरता में चुंबकीय आकर्षण है) चुंबन-सं० (स० क्रि०) चुम्मा, चूमना । ~आलिंगन (पु० ) चूमना और गले लगाना
चुंबित - सं० (वि०) 1 चूमा हुआ 2 स्पर्श करता हआ चुंबी - सं० (वि०) 1 चूमनेवाला 2 जो किसी को स्पर्श करता हो, बहुत ऊँचा (जैसे-गगनचुंबी इमारतें ) चुआ - (पु० ) चार पैरोंवाला पशु चौपाया बुआई - (स्त्री०) 1 चुआने की क्रिया, टपकाने की क्रिया 2 चुआने की मज़दूरी
चुआना - (स० क्रि०) बूँद-बूँद गिराना, टपकाना चुकंदर - फ्रा० (पु०) लाल रंग का प्रसिद्ध मीठा फल जो सब्ज़ी के काम आता है।
चुक - (पु० )
= चूक II
चुकचुकाना - (अ० क्रि०) पसीजना
चुटकी
3 तै होना 4 पूरा-पूरा परिशोध होना 5 संयोज्य क्रिया जो मुख्य क्रिया की समाप्ति की सूचक होती है (जैसे खेल चुकना, लड़ चुकना)
चुकवाना - (स० क्रि०) चुकाने में दूसरे को लगाना (जैसे- कर्ज चुकवाना पड़ेगा )
चुकाई - (स्त्री०) 1 चुकने-चुकाने की क्रिया 2 चुकने-चुकाने की मज़दूरी
चुकट - (पु० ) = चंगुल चुकटी-बो० (स्त्री०) = चुटकी
चुकता - (वि०) 1 चुकाया हुआ 2 लेना-देना बराबर हुआ चुकना - (अ० क्रि०) 1 समाप्त होना, बाकी न रहना 2 निबटना
चुकाना - (स० क्रि० ) 1 वापस करना 2 क्षतिपूर्ति करना (जैसे-ट्रक दुर्घटना में ट्रक मालिक को दस हज़ार रुपये चुकाना पड़ा) 3 निपटाना
चुकारा, चुकाव - (पु०) चुकने-चुकाने की क्रिया चुकावरा- बो० (पु०) कर्ज़, देन आदि चुकाने की क्रिया चुकौता - बो० (पु० ) 1 रुपया पाने के समय लिखी जानेवाली रसीद 2 कर्ज़ का साफ़ हो जाना
चुक्कड़ - (पु० ) कुल्हड़, पुरवा चुक्कार - (पु० ) गर्जन, गरज
चुक्र -सं० (पु० ) 1 चूक 2 चूका नामक खट्टा साग। फल (पु० ) इमली
चुक्रिमा - सं० (स्त्री०) खट्टापन, खटाई चुग़द - I फ़ा० (पु०) उल्लू II (वि०) महामूर्ख चुगना- (स० क्रि०) पक्षियों का चोंच से अन्न के दाने
उठा-उठाकर खाना
चुग़ल - फ़ा० (पु० ) 1 चुगलखोर 2 कंकड़, गिट्टक। खोर (पु०) पीठ पीछे निंदा करनेवाला; खोरी (स्त्री०) चुगलखोर का काम, पिशुनता
चुग़ली - फ्रा० (स्त्री०) निंदा, बुराई। खाना पीठ पीछे दूसरों से की जानेवाली अभियोगात्मक निंदा
चुगा - I ( पु० ) चिड़ियों का चारा चुगा - II बो० (पु०) चोग़ा, पहनावा
चुगाना - (स० क्रि०) चिड़ियों को दाना खिलाना चुग्गुलखोर -फ़ा० (पु० ) चुगलखोरी - फा० (स्त्री० )
चुगलखोर चुग़लख़ोरी
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चुगुली - फ्रा० (स्त्री०) चुग़ली चुग्गा - ( पु०) चिड़ियों का दाना-दुनका
चुचकना - (अ० क्रि०) 1 सूखकर सिकुड़ना 2 मुरझा जाना
चुचकारना - (स० क्रि०) चुमकारना चुचकारी - (स्त्री०) चुमकार, पुचकार खानाबो० (अ० क्रि०), चुचुआना- (अ० क्रि०) दे० चुकचुकाना
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खुचुकना - ( अ० क्रि०) 1 सूख जाना 2 रस समाप्त हो जाना चुटकना - I (स० क्रि०) 1 चुटकी से तोड़ना 2 चिकोटी काटना II (स० क्रि०) कोड़ा मारना
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चुटका - ( पु० ) 1 उतना पदार्थ जितना चुटकी में आ सके (जैसे- चुटकी भर आटा देना) 2 बड़ी चुटकी चुटकिला - (पु० ) 'चुटकुला चुटकी - (स्त्री०) 1 अँगूठे, तर्जनी और बीच की उँगली को मिलाने से बनी हुई मुद्रा (जैसे-चुटकी से पत्तों का दोना बनाना) 2 चिकोटी 3 व्यंग्यपूर्ण बात (जैसे- मीठी चुटकियाँ देना) 4 अंगूठे एवं तर्जनी को मिलाकर चटकाने की क्रिया (जैसे- चुटकी बजाना)। देना 1 चुटकी बजाना 2 भीख