________________ सेठिया जैन ग्रन्थमाला mmmmmmmmmimmmmmmmmm :293 अप्रामाणिकता से कमाये हुए अटूट द्रव्य की अपेक्षा, प्रामाणिकता का एक पैसा भी ज्यादा कीमती और टिकाऊ होता है। 294 विश्वासघात, चोरी, कपट, प्राणिवध, कन्यावि क्रय और स्वामिद्रोह से प्राप्त हुई सम्पत्ति, * सम्पत्ति नहीं विपत्ति है। 295 अन्याय और अधर्म से पैदा किये हुए द्रव्य ___ को यदि पूर्व पुण्य का सहारा न हो, तो दश : - वर्ष से अधिक नहीं ठहर सकता। 296 जिस धन से दीन दुखी जनों का उद्धार न किया हो, सुपात्र को दान न दिया हो और ... कुटुम्बियों का पोषण न किया हो, वह धन, ... धन नहीं, धूल है। 297 आमदनी के अनुसार धर्म माग में बिलकुल व्यय न करना, लक्ष्मी को लंगड़ी बनाने के ......बराबर है। 298 अन्तरंग में गुण न हो, तो बाहर का आडंबर ... व्यर्थ है / यही नहीं, वह संसार को फंसाने