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क्रिया अध्ययन
तेसिं णं भगवंताणं इमा एयारूवा जायामायावित्ती होत्था, तं जहाचउत्थे भत्ते, छठे भत्ते, अट्ठमे भत्ते, दसमे भत्ते, दुवालसमे भत्ते, चोद्दसमे भत्ते, अद्धमासिए भत्ते, मासिए भत्ते, दोमासिए भत्ते, तेमासिए भत्ते, चउम्मासिए भत्ते, पंचमासिए भत्ते, छम्मासिए भत्ते। अदुत्तरं चणं
१. उक्खित्तचरगा, २. णिक्खित्तचरगा, ३. उक्खित्तणिक्खित्तचरगा, ४. अंतचरगा, ५. पंतचरगा, ६. लूहचरगा, ७. समुदाणचरगा, ८. संसट्ठचरगा, ९. असंसट्ठचरगा, १०. तज्जायसंसट्ठचरगा, ११. दिट्ठलाभिया, १२. अदिट्ठलाभिया, १३. पुट्ठलाभिया, १४. अपुट्ठलाभिया, १५. भिक्खलाभिया, १६. अभिक्खलाभिया, १७. अण्णायचरगा, १८. अन्नगिलायचरगा, १९. ओवणिहिया, २०. संखादत्तिया, २१. परिमियपिंडवाइया, २२. सुद्धेसणिया, २३. अंताहारा, २४. पंताहारा, २५. अरसाहारा, २६. विरसाहारा, २७. लूहाहारा, २८. तुच्छाहारा, २९. अंतजीवी, ३०. पंतजीवी, ३१. पुरिमड्ढिया, ३२. आयंबिलिया, ३३. निव्विगइया, ३४. अमज्ज-मंसा सिणो, ३५. णो णियामरसभोई, ३६. ठाणाईया, ३७. पडिमट्ठाईया,
९६१ ) उन भगवन्तों की इस प्रकार की संयमी जीवन चलाने वाली प्रवृत्ति होती है, यथावे एक दिन का उपवास, दो दिन का उपवास, तीन दिन का उपवास, चार दिन का उपवास, पांच दिन का उपवास, छह दिन का उपवास,एक पक्ष का उपवास,एक मास का उपवास,दो मास का उपवास, तीन मास का उपवास, चार मास का उपवास, पांच मास का उपवास, छह मास का उपवास, यथा१. पाक-भोजन से बाहर निकाले हुए भोजन को लेने वाले। २. पाक-भोजन में रखे भोजन को लेने वाले। ३. पाक-भोजन से बाहर निकाले तथा रखे भोजन को लेने वाले। ४. निरस भोजन लेने वाले। ५. बासी भोजन लेने वाले। ६. रूखा भोजन लेने वाले। ७. अनेक घरों से भिक्षा लेने वाले। ८. लिप्त हाथ या कड़छी से भिक्षा लेने वाले। ९. अलिप्त हाथ या कड़छी से भिक्षा लेने वाले। १०. देय द्रव्य से लिप्त हाथ या कड़छी से भिक्षा लेने वाले। ११. सामने दीखने वाले आहार आदि को लेने वाले। १२. सामने नहीं दीखने वाले आहार आदि को लेने वाले। १३. "क्या भिक्षा लोगे?" यह पूछे जाने पर ही भिक्षा लेने वाले। १४. "क्या भिक्षा लोगे"-यह प्रश्न पूछे बिना भी भिक्षा देने वाले। १५. स्वयं भिक्षा लाकर भोजन करने वाले। १६. दूसरे श्रमणों द्वारा लाई हुई भिक्षा का भोजन लेने वाले। १७. परिचय दिए बिना भोजन लेने वाले। १८. आहार के बिना ग्लान होने पर ही भिक्षा लेने वाले। १९. पास में रखा हुआ भोजन लेने वाले। २०. परिमित दत्तियों का भोजन लेने वाले। २१. परिमित द्रव्यों की भिक्षा लेने वाले। २२. निर्दोष या व्यंजन रहित भोजन लेने वाले। २३. बचा-खुचा भोजन करने वाले। २४. बासी भोजन करने वाले। २५. हींग आदि के बघार से रहित भोजन करने वाले। २६. पुराने धान्यों का भोजन करने वाले। २७. रूखा आहार करने वाले। २८. तुच्छ भोजन करने वाले। २९. बचे-खुचे भोजन से जीवन चलाने वाले। ३०. बासी भोजन से जीवन चलाने वाले। ३१. दिन के पूर्वार्ध में भोजन नहीं करने वाले। ३२. आयंबिल तप करने वाले। ३३. घृत आदि विकृतियों को न खाने वाले। ३४. मद्य-मांस न खाने वाले। ३५. अधिक रसों का भोजन नहीं करने वाले। ३६. कायोत्सर्ग-मुद्रा में खड़े रहने वाले। ३७. प्रतिमाकाल में कायोत्सर्ग मुद्रा में अवस्थित।