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चौतीस स्थान दर्शन
कोष्टक नं० १९
देवगति
१ उपयोग
२० उपयोग
ज्ञानोपयोग दशंतोपयोग पहजानना
४ के भंग में से कोई १ उपयोग जानना
१ भंग ५-६-६के रंग (१) भवनत्रिक देवों से नवनव-'
यक नक के देवों में १ले रे गुगा० के । ५का भंग
५ का भंग कुमति कुथ नि.. कुपववि ज्ञान और प्रचत्र दर्शन. का भंग जानना रेख में
का भंग का भग ऊपर के ५ के मंग में अवधि न जोडकर ६. का भंग जानना 1) भवनत्रिक देव में सर्वार्थ । मिद्धि तक के देवों में
का मंग ४ सग. में
फा भंग मति, श्रुति, : अवधि ज्ञान और प्रभु दर्शन, . चन्न दर्शन, गवधि दर्शन, ये ६ का भी जनना
४ के भंग में से कोई 1 उपयोग
जानना
१ उपयोग
१ भंग म . पाक
४-४-६-६ के भंग
(१) भवनत्रिक देवों में के मंग में मे लग गम में
४ का भंग कोई १ उपयोग ४ का भंग पर्याप्ति के ५ । जानना के मंग में में कृअवधि
मान पक्षकर ४ का अंग के भंग में ये जानना - कोई १ उपयोग! (0) १ले स्वर्ग में नवजानना बेयक तक ऊं देवों में १नो गुग में
का भंग ४पा भंग चुमति, के भंग में ने कुच ति, प्रचक्ष दर्शन. चक्षु . कोई १:पयोग ! दर्मन यं का भंग जानना | जाना।
गगा में ... का भंग
का भग पय सवन् जानना (1) मत्र अदिश और पचादतर विमान के देवों में । ४य गुगा में
' या मंग का भग
पर्याः वद जानना . १ प्यान
५. पाय विचय धर्मध्यान - के भंग में मे टाकर (६) कोई ध्यान --के भंग जानना
के भंग में से कोई १ उपयोग
के भंग में से कोई१ उपयोग
१ ध्यान
२१ ध्यान १० ।
१० पार्नध्यान ४
--६-१० के भंग रौद्रम्यान ४
१ले रे गुण में धर्मध्यान,
= का मंग भानच्यात (माज वि० प्रा०पायदि रोद्रध्यान ये 5 का भंग
..जानना _ ! जानना
बारे मंग | ८ का भंग