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कोमला
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कोमलाई श्री ललाई पदुमन
" जीतो की ”
० ।
" अपने
रघु कोमला - संज्ञा, स्त्री० (सं) कोमल पद वाली वृत्ति या वर्ण - योजना, प्रसाद गुण युक्त (का० शा० ) । कोय - सर्व (दे० ) कोई. कहँ कोइ कोय - " रही० । कोयर - संज्ञा, पु० दे० (सं० कोपल ) सागपात, सब्ज़ी, हरा चारा । कोयल - संज्ञा, स्त्री० दे० (सं० कोकिल ) सुन्दर बोलने वाली एक काली चिड़िया,
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लिया (दे०) कैली (दे० ) । गुलाब की पत्तियों सी पत्तियों वाली एक लता । कोयला - कैला - संज्ञा, पु० दे० ( सं० कोकिल अंगारा) जली हुई लकड़ी का बुझा हुआ अंगारा जो बहुत काला होता है, एक खनिज पदार्थ जो कोयले जैसा जलाया जाता है 1
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कोया -संज्ञा, पु० दे० (सं० कोण ) आँख का डेला, या कोना, (सं० काश ) कटहल का गूदेदार बीज, कोश, कोवा । कोर-संज्ञा, स्त्री० दे० (सं० कोण ) किनारा, सिरा, कोना, कपड़े यादि का छोर। मुहा०—-कोर दबना- किसी प्रकार के दबाव या वश में होना । द्वेष, दोष, ऐब, हथियार की धार. बाढ़, पंक्ति, क़तार | गाँठ, पोर, करोड़, दृष्टि, (C करहु कृपा की कोर - " " कोर कोर कटि गये। हटि कै न पग दयो जतन कीजियत कोर..." " झलक लोचन - कोर - " सू० । कोरक - संज्ञा, पु० (सं०) कली, मुकुल, फूल या कली की आवारभूता हरी पत्तियाँ, फूल की कटोरी, मृणाल या कमल - नाल, शीतल चीनी ।
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कोर-कसर - संज्ञा, स्त्री० यौ० ( हि० कोर + कसर फा) दोष- त्रुटि, ऐब, कमी, कमी-बेशी । कोरना - स० क्रि० (दे०) खोदना, कुतरना,
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कुरेदना,
पूतरी बनाइ राखी –„ कोरंगी - संज्ञा, स्त्री० इलायची |
कोरमा संज्ञा, पु० ( तु० ) बिना शोरबे का भुना मांस ।
को रहन संज्ञा, पु० ( १ ) एक प्रकार का
धान ।
कोरा - वि० दे० गया हो, नया,
(सं० केवल ) जो बर्ता न अछूता, ( कपड़ा या मिट्टी का बरतन ) जो धोया या बर्ता न गया हो, जिस पर लिखा या चित्रित न किया गया हो, सादा ।
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कोलाहल
जैसे - काठ - कोरि ता
सुन्द० 1
( दे० ) छोटी
मुहा० - कोरीधार ( बाढ़) - बिना सान रखी हथियार की धार कोरा जवाबसाफ़ इंकार, स्पष्ट शब्दों में अस्वीकार । ख़ाली, रहित, वंचित, बेदाग़, बिना आपत्ति या दोष का, मूर्ख, धन-हीन, केवल | संज्ञा, पु० दे० (सं० कोड़ ) गोद, उछंग, अँकोर ( ० ) | संज्ञा, पु० (दे०) बिना किनारे की रेशमी धोती, एक जल-पक्षी । "बैसहू की थोरी एक कोरी यति भोरी बाल । " स्त्री० कोरी । यौ० कोरा घड़ा - जिस पर कुछ प्रभाव न पड़ा हो । कोरापन -संज्ञा, पु० ( हि०) नवीनता | कोरि - वि० दे० (सं० कोटि ) करोड़ |
०क्रि० (दे० ) पू० का० खोद कर । कोरिया - संज्ञा, स्त्री० ( दे० ) कुरिया | कोरी -संज्ञा, पु० (दे० ) ( सं० कोल सुर ) हिंदू जुलाहा, कुविंद | कोल संज्ञा पु० (सं० ) शूकर, सुअर, (दे० ) गोंद, उत्संग, बेर, बदरीफल, एक तोले की तौल, काली मिर्च, दक्षिण का एक प्राचीन प्रदेश ( राज्य ) एक जंगली जाति, चित्रक, शनिग्रह, कोरा । " अहि, कोल, कूरम कलमले - रामा० । कोलाहल - संज्ञा, पु० हौरा, कुलाहल ( ब० ) कुहराम ।
(सं० ) शोर-गुल,
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