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महान तपस्वी भगवान् महावीर
राजर्षि श्री पुरुषोत्तमदास जी टण्डन भगवान् महावीर एक महान् तपस्वी थे। जिन्होंने सदा सत्य और अहिंसा का प्रचार किया।
इनकी जयन्ती का उद्देश्य मैं यह समझता हूँ कि र इनके आदर्श पर चलने और उसे मजबूत बनाने का र यत्न किया जावे।
-वर्द्धमान देहली, अप्रैल १६५३ पृ०८।
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विश्व शान्ति के संस्थापक
आचार्य श्री काका कालेलकर जी मैं भगवान महावीर को परम आस्तिक मानता हूँ। श्री भगवान महावीर ने केवल मानव जाति के लिये ही नहीं पर समस्त प्राणियों के विकास के लिये अहिंसा का प्रचार किया । उनके हृदय में प्राणीमात्र
के कल्याण की भावना सदैव ज्वलंत थी। इसी लिये र वह विश्व-कल्याण का प्रशस्त मार्ग स्वीकार कर सके। र मैं दृढ़ता के साथ कह सकता हूँ कि उनके अहिंसा
सिद्धान्त से ही विश्व-कल्याण तथा शान्ति की * स्थापना हो सकती है।
-ज्ञानोदय वर्ष १, पृ० ६६ । । COMMMMM MMM
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