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324/ जैन समाज का बृहद इतिहास
श्री सेठी जी सन् 1967 में व्यवसाय के लिये जयपुर आ गये लेकिन इसके पूर्व सन् 1964 में आप गंभीर रूप से बीमार हो गये थे । एक तरह से आपको नया जीवन प्राप्त हुआ था। जयपुर आने के पश्चात् आपने व्यवसाय में अच्छी प्रगति की तथा वर्तमान में आप प्रोपर्टी बिजनेस एवं मकान निर्माण व्यवसाय में प्रथम श्रेणी के व्यवसायी गिने जाते हैं।
सेठी जी दि.जैन महासपा से अधिक जुड़े हुये हैं । सन् 1982 से ही आप उसके उपाध्यक्ष हैं । सेठी जी ने सन् 1982 में जयपुर में चूलगिरी पंचकल्याणक प्रतिष्ठा महोत्सव में सौधर्म इन्द्र का पद ग्रहण किया तथा चूलगिरी मंदिर में शिखर पर स्वर्ण कलश चढाया था। लेस्टर के पंचकल्याणक में जब गये थे तो यूरोप के देशों का भ्रमण किया था । धार्मिक जीवनयापन करते हैं। प्रातः 4 बजे से 9 बजे तक धार्मिक क्रियाओं में व्यस्त रहते हैं। आपकी पत्नी सन् 1954 में दशलक्षण व्रत के उपवास कर चुकी हैं।
पता :- एच-8, सुखी जीवन कम्प्लेक्स जेकब रोड,अजमेर पुलिया के पास,जयपुर। .श्री स्वरूपचन्द पांड्या
खोरा (जयपुर) के पांड्या परिवार के श्री स्वरूपचन्द जी पांड्या का सेवत् 1986 में जन्म हुआ था । सामान्य शिक्षा प्राप्त करने के पश्चात् आप रेल्वे बिल्टियों के क्लीयरिंग व्यवसाय में चले गये। आपके पिताजी श्री सुवालाल जी सन् 1972 में 80 वर्ष की आयु में चल बसे । आपकी माताजी रामादेवी का स्वर्गवास सन् 1984 में 90 वर्ष की आयु में हुआ था।
श्री पांड्या जी का विवाह संवत् 2006 में श्रीमती तारादेवी के साथ संपन्न हुआ । वर्तमान में आपको दो पुत्र भागचन्द (39वर्ष) एवं हरिश शुर(27 सितः । पु। ::, मुशीता रजपे पन्नता के पिता बनने का सौभाग्य प्राप्त है । दोनों पुत्रों एवं तीनों पुत्रियों सभी का विवाह हो चुका है 1 श्री भागचन्द की पत्नी का नाम श्रीमती प्रेमलता एवं हरिशकुमार की पत्नी का नाम सुनीता है।
आप दि.जैन अ. क्षेत्र बैनाड़ के मंत्री एवं अध्यक्ष दोनों रह चुके हैं। श्री विजेराम पांड्या नशियां की कार्यकारिणी के सक्रिय सदस्य हैं । आपके प्रतिदिन पूजा अभिषेक करने का नियम है । विजैराम पांड्या की नशियों में जाकर ही पूजा पाठ करते हैं । मूल निवासी खोरा के हैं । जयपुर में विगत 40-45 वर्षों से रह रहे हैं।
पता : - प्लाट न.10 सीतारामपुरी,गोलीमार सदन के सामने,आमेर रोड़,जयपुर । श्री शान्ति कुमार गंगवाल
बी.कॉम. सुपुत्र स्व.श्री गेंदीलाल गंगवाल (वकील)
आप बैंक ऑफ राजस्थान के क्षेत्रीय कार्यालय जयपुर में कार्य कर रहे हैं । आप श्री महावीर जैन संगीत मण्डल व श्री दिगम्बर जैन मुनि संघ व योग समिति के मंत्री तथा मुनि संघ समिति जयपुर के प्रथम मन्त्री रह चुके हैं । पूजा प्रचारक समिति के सक्रिय कार्यकर्ता व मन्त्री रह चुके हैं । आप धार्मिक भजनों के अच्छे गायक हैं। श्री णमोकार महामंत्र का संगीत के साथ विभित्र राग रागनियों में आप जाप्य किया करते हैं। भादवा मास में वर्ष 1961 से