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राजस्थान प्रदेश का जैन समाज /479
श्री जतनलाल गदिया
गदिया गोत्रीय श्री जतनलाल जी का जन्म संवत् 1981 के आसोज महिने में हुआ। आपके माता-पिता का बहुत पहिले. स्वर्गवास हो गया था । सामान्य शिक्षा प्राप्त करने के पश्चात् आपने व्यापार की ओर कदम रखा और आढ़त का कार्य करने लगे। संवत् 1998 में आषाढ सुदी) को आपका भंवरीदेवी से विवाह हुआ।
गदिया जी धार्मिक प्रवृत्ति के व्यक्ति हैं । सन् 1963 में ब,जिनेन्द्र वर्णी जी के सानिध्य में नसौराबाद में तीन लोक मंडल विधान कराया था। नगर की सभी संस्थाओं को आर्थिक सहयोग से उपकृत करते रहते हैं। स्वाध्याय में रुचि रखते हैं। तीर्थयात्रा प्रेमी हैं।
पता : घीसालाल जतनलाल गदिया नसीराबाद (अजमेर) श्री टीकमचंद पाटनी
सादा जीवन, शुद्ध आचार विचार रखने वाले श्री टीकमचंद पाटनी अजमेर के सामाजिक क्षेत्र में अपना विशेष स्थान रखते हैं। आपका 27 नवम्बर, 1944 में जन्म हुआ। बी.एस.सी.(प्रथम वर्ष) एवं मेडिकल में तीन वर्ष तक अध्ययन करने के पश्चात् आप बिजली के सामान का व्यवसाय एवं कॉन्ट्रेक्टरशिप करने लगे और उसमें अच्छी सफलता प्राप्त की । आपके पिताजी श्री मांगीलाल जी पाटनी का स्वर्गवास 1950 में हो गया । माताजी का आशीर्वाद प्राप्त है । 23 मई 165 को आप मुत्रादेवी के साथ विवाह सूत्र में बंधे । वर्तमान में आप चार पुत्रियों एवं एक पुत्र दीपक के यशस्वी पिता हैं।
आपने 20 वर्ष की आयु से ही शुद्ध खानपान का नियम ले रखा है । प्रतिदिन पूजा अभिषेक करते हैं तथा मुनिराजों की सेत्रा में तत्पर रहते हैं । आप दि.जैन आलनियावास नागौर दि.बैन चैत्यालय धड़ा पंचायत अजमेर के मंत्री हैं । दि. जैन महासमित्ति अजमेर के सदस्य हैं । दि. जैन महावीर छात्रावास समिति के मंत्री हैं । सन् 1981 में महामस्तकाभिषेक के अवसर पर कलश लिया तथा जम्बूद्वीप ज्ञानज्योति में आर्थिक सहयोग दिया। आपके दो बड़े भाई भी शांतिलाल जी 51 वर्ष एवं कुंतीलाल जी 48 वर्ष ईचलकरणजी (महाराष्ट्र) में वस्त्र उद्योग एवं बिल्डिंग ठेकेदारी का कार्य करते हैं। ईचलकरणजी में जो मंदिर बन रहा है उसमें अजमेर के हाथीभाटा के मंदिर से प्रतिमा भेजी गई है।
पाटनी जी आतिथ्य प्रेमी हैं। व्यवहारकुशल एवं सबको यथेष्ट सहयोग देते रहते हैं।
पता: श्री महावीर इलेक्ट्रिक एंड जनरल स्टोर,21 खाई लैण्ड, अजमेर श्री त्रिलोकचन्द सौगानी
अजमेर के श्री त्रिलोकचंद सौगानी का जन्म कार्तिक बुदी ) संवत् 1989 के शुभ दिन हुआ । आपके पिताजी श्री गुलाबचंद जी का करीब 23-24 वर्ष पहिले ही स्वर्गवास हो चुका है । माताजी की छत्रछाया प्राप्त है । आपका विवाह नरकल देवी के साथ दि. 22 जून 1953 को तदनुसार ज्येष्ठ शुक्ला ।) को संपन्न हुआ। आप दोनों पति पत्नी पांच पुत्रियां निर्मला, मुशीला, उर्मिला,मंजृ एवं रिंकू तथा दो पुत्र राजेन्द्रकुमार एवं पदमकुमार से गौरवान्वित हैं।
श्री सौगानी जी तीर्थयात्रा प्रेमी हैं। साधुओं एवं मुनिराजों के कट्टर भक्त हैं। उनकी संवा सुश्रुपा में आनन्द मानते हैं। विधान एवं रथयात्रा में बोलियाँ लेते रहते हैं ।
पता :: रंग महल,नशियों के सामने,अजमेर