________________
378 जैन समाज का बृहद् इतिहास
आचार्य निर्मलसागर जी से दीक्षा लेकर तीन वर्ष तक मुनि रहे । मुनि चारित्र सागर कहलाये। उनका समाधिमरण सन् 1975 में हुआ था।
पता - मु.पो. टोडारायसिंह (टौंक) राज. श्री सुरेन्द्रमोहन जैन कासलीवाल
नगरपालिका पालपुरा के सन 1982 से निरन्तर सदस्य रहने वाले श्री सुरेन्द्रमोहन जी कामलीवाल की टोंक जिले के प्रमुख वकीलों में गणना की जाती है । समाज के वे बहुत ही गतिशील कार्यकर्ता हैं । आप जिला महामंत्री जनता दल (दि) संयोजक भगवान महावीर हैल्थ सोसायटी,संरक्षक श्री जैन नवयुवक मण्डल मालपुरा,संरक्षक खुदरा विक्रेता संघ अध्यक्ष लघु उद्योग संघ मालपुरा, महामंत्री दि.जैन महासमिति एवं शांति समिति मालपुरा आदि विभिन्न संस्थाओं से आप जुड़े हुये हैं।
आपका जन्म 30-6-47 को दौंक जिले के पालपुरा में हुआ। आपके पिताजी श्री मोहनलाल जो कासलीवाल कार्यालय अधीक्षक,जिलाधीश पाली से सन् 1975 में सेवानिवृत्त होकर शांत एवं धार्मिक जीवन जी रहे हैं । आपकी माताजी चांदबाई पुराने विचारों की महिला है। सन् 1967 में आपका विवाह सुश्री विद्या जैन से हुआ आपके छोटे चार भाई और हैं, जिनमें सर्व श्री डा. नरेन्द्र मोहन जी एम.डी. है तथा एस.एम.एस. मेडिकल कॉलेज में असिस्टेंट प्रोफेसर हैं, आपने सन 1972 में एम.बी.बी.एस. तथा 1985 में एड डी.किया है,श्री राजेन्द्र मोहन जैन चार्टर्ड अकाउन्टेण्ट हैं,वर्तमान में वाईस प्रेसीडेंट मार्डन ऐड रोयल के पद पर कार्यरत हैं । श्री देवेन्द्र मोहन जी जैन एमई(पी.एच) हैं तथा पी.एचई डॉ.जयपुर में सहायक अभियन्ता हैं तथा श्री जितेन्द्र मोहन जी जैन राजस्थान हाईकोर्ट में एडवोकेट हैं।
श्री सुरेन्द्र मोहन जैन मालपुरा क्षेत्र में सर्वत्र प्रसिद्ध हैं, सक्रिय नेता हैं तथा युवा वकील हैं ।
पता: कासलीवाल सदन, जैन मोहल्ला,मालपुरा (राज) - 304502 श्री सोहनलाल जैन पाटनी
सामाजिक कार्यों में आगे रहने वाले श्री सोहनलाल जी पाटनी निवाई जैन समाज के प्रमुख समाजसेवी हैं । निवाई नगरपालिका के 4 वर्ष तक सदस्य रहे तथा उसमें स्वास्थ्य सफाई समिति एवं भवन निर्माण समिति के संयोजक थे। भारतीय जनता पार्टी के क्रियाशील सदस्य हैं। नगर की सभी सामाजिक संस्थाओं से जुड़े हुये हैं तथा उनमें सक्रिय होकर भाग लेते हैं। भगवान महावीर के. 250(3 वां निर्वाण महोत्सव में प्रशंसनीय कार्य किया । शुद्ध खानपान का नियम लिया हुआ है । मुनिराजों को आहार देने में आगे रहते हैं । समाज सुधारक हैं । अभी आपने अपने पुत्र राजेन्द्र कुमार की सगाई एवं विवाह केवल 15 घंटों में करके यशस्वी कार्य किया ।
आपका जन्य कार्मिक शुक्ला 4 संवत् 1990 को हुआ । हाईस्कूल, साहित्य विशारद एवं धर्म विशारद पास करने के पश्चात् आपका विवाह फाल्गुण शुक्ला अष्टमी संवत् 2005 में उमरावदेवी के साथ हो गया । जिनसे आपको 6 पुत्र एवं 6 पुत्रियों के पिता बनने का सौभाग्य प्राप्त हो चुका है । आपके छ: पुत्रों में श्री सुरेश,महेन्द्र एवं राजेन्द्र का तथा दो पुत्रियां भंवरबाई एवं शांतिबाई का विवाह हो चुका है । सभी पुत्र आपको व्यापार में सहयोग देते हैं।