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चौबीस द्वारों का कथन प्र.176 चैत्यवंदन भाष्य में कुल कितने द्वारों का उल्लेख किया हैं, नाम
बताइये ? चैत्यवंदन भाष्य में कुल 24 द्वारों का उल्लेख किया हैं - 1. त्रिक द्वार 2. अभिगम द्वार 3. दिशि द्वार 4. अवग्रह द्वार 5. वंदना द्वार 6. प्रणिपात द्वार 7. नमस्कार द्वार 8. वर्ण द्वार 9. पद द्वार 10. संपदा द्वार 11. दण्डक द्वार 12. अधिकार द्वार 13. वंदनीय द्वार 14. स्मरणीय द्वार 15. जिन द्वार 16. स्तुति द्वार 17. निमित्त द्वार 18. हेतु द्वार 19. आगार द्वार 20. कायोत्सर्ग द्वार 21. कायोत्सर्ग प्रमाण द्वार 22. स्तवन द्वार 23.
चैत्यवंदन द्वार 24. आशातना द्वार । प्र.17 त्रिक द्वार से क्या तात्पर्य है ? उ... त्रिक यानि तीन भेदों का कथन । निसीहि आदि मंदिर सम्बन्धित दस . त्रिकों का वर्णन जिस द्वार में किया जाता है, उसे त्रिक द्वार कहते हैं । प्र.178 अभिगम द्वार किसे कहते है ? उ. जिनेश्वर परमात्मा के सम्मुख जाते समय अवश्यमेव आचरणीय योग्य ... बातों का उल्लेख जिस द्वार में किया गया है, उसे अभिगम द्वार कहते
4.179 दिशि द्वार में क्या वर्णित है ? उ... जिनमंदिर में परमात्मा के किस दिशा में कौन खड़ा रहे, इसका निर्धारण . दिशि द्वार में किया गया है।
चैत्यवंदन भाष्य प्रश्नोत्तरी
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