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अदौरी
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अधिक अदौरी-(स्त्री०) उर्द की सुखायी हुई बड़ियां
चरा या खाया हुआ; जमा (वि०) आधा जमा हुआ; अद्दा-I (पु०) किसी वस्तु का आधा अंश II (अ०) जल +सं० (वि०) आधा भरा हुआ; ~जला (वि०) 1 प्रत्यक्ष 2 निस्संदेह
आधा जला हुआ; ~नंगा (वि०) अर्द्धनग्न; ~पक्का अही-(स्त्री०) 1 दमड़ी का आधा 2 मलमल की तरह का (वि०) आधा पक्का हुआ; ~पेट (पु०) आधा पेट; बढ़िया बारीक वस्त्र
-बहिया (स्त्री०) आधी बाँह; बना (पु०) आधा बना अद्भुत-I सं० (वि०) आश्चर्यजनक, अनोखा II (१०) हुआ; बीच (पु०) मॅझधार; -भिड़ा; ~मरा (वि०)
आश्चर्यजनक पदार्थ या घटना। -कर्मा (वि०) देखने में = ~मुआ; (वि०); -मिटा (वि०) आधा मिटा हुआ; अद्भुत लगनेवाला; रस (पु०) काव्य के नौ रसों में एक ~मुंदा (वि०) आधा ढका हुआ; ~मुआ (वि०) आधा रस
मरा हुआ, मृतप्राय; रात; (स्त्री०) आधी रात सेरा अद्भुतालय-सं० (पु०) अजायबघर
(पु०) आधे सेर का बाट अद्भुतोपमा-सं० (स्त्री०) उपमा अलंकार का एक भेद अधन्ना-(पु०), अधन्नी-(स्त्री०) आधे आने का सिक्का अद्य-सं० (अ०) 1 आज 2 अब 3 अभी। पूर्व I (अ०) अधन्य-सं० (वि०) 1 अभागा 2 जो उन्नति न कर रहा हो आज से पहले II (वि०) आज से पहले का
अधम-सं० (वि०) 1 नीच 2 बदमाश 3 पापी 4 निर्लज्ज अद्यतन, अद्यावधिक-सं० (वि०) आज का, चालू, ताज़ा अधमर्ण-सं० (पु०) कर्जदार अद्ययावत-सं० (क्रि० वि०) अब तक
अधमांग-सं० (पु०) पॉव अद्यापि-सं० (अ०) 1 आज भी 2 अब भी 3 आज तक अधमाधम-सं० (वि०) नीचतम या निम्नतम 4 अब तक
अधमुख-(वि०) 1 नीचे की ओर मुँह किए हुए 2 औंधे अध्यावधि-सं० (अ०) इस समय तक
अधमोद्धारक-सं० (वि०) पापियों का उद्धार करनेवाला अद्रव-सं० (वि०) ठोस
अधर-I सं० (वि०) नीचा 2 नीचे का 3 घटिया 4 जिसके नीचे अद्रव्य-I सं० (पु०) तुच्छ वस्तु II (वि०) दरिद्र आधार न हो 5 पराजित II (पु०) नीचे का ओंठ 2 शरीर का अद्रि-सं० (पु०) 1 पर्वत 2 पत्थर
निचला भाग 3 अंतरिक्ष 4 रतिगृह। पान (पु०) होंठ अद्रोह-सं० (पु०) द्वेष रहित। -वृत्ति (स्त्री०) द्रोह रहित चूसना, चुंबन, बुद्धि (वि०) क्षुद्र बुद्धि वाला; रज आचरण
(स्त्री०) होठों की सुर्जी अद्रोही-सं० (वि०) द्रोहरहित
अधरांग-सं० (पु०) कमर के नीचे का अंग अद्वंद्व-सं० (वि०) 1 शत्रुताहीन 2 संघर्ष रहित
अधराधर-सं० (पु०) नीचे का होंठ अद्वय-I सं० (वि०) 1 बेजोड़ 2 अकेला II (पु०) द्वैत का | अधरावलोप-सं० (पु०) होंठ चबाना अभाव
अधरीण-सं० (वि०) 1 अपमानित 2 नीच अद्वा तद्वा-सं० (सर्व०) यह अथवा वह
अधरोत्तर-सं० (वि०) 1 ऊँचा नीचा 2 अच्छा बुरा 3 कमोबेश अद्वार-सं० (पु०) द्वार रहित स्थान
अधरोष्ठ-सं० (पु०) नीचे का होंठ अद्वितीय-सं० (वि.) 1 बेजोड़ 2 अनोखा 3 अकेला अधर्म-सं० (पु०) 1 धर्म-विरुद्ध कार्य 2 पाप 3 अन्याय अद्वेष-[ सं० (वि०) 1निर्वैर 2 शांत II (पु०) द्वेषहीनता अधर्मन-(वि०) हराम का अद्वेषी-सं० द्वेष रहित
अधर्मात्मा, अधर्मी-सं० (वि०) पापी. अद्वैत-सं० (पु०) 1 द्वैत या भेद का अभाव 2 आत्मा परमात्मा अधर्षणीय-सं० (वि०) जो दबाया न जा सके या निर्भय में अभिन्नता। ~वाद (पु०) आत्मा-परमात्मा की एकता का अधवट-(वि०) आधा औटा हुआ सिद्धांत; ~वादी (वि०) अद्वैतवाद को माननेवाला अधवा-सं० (स्त्री०) विधवा अद्वैध-सं० (वि०) 1 जो दो भागों में बंटा न हो 2 अवियुक्त अधश्चर-सं० (पु०) सेंध लगाकर चोरी करनेवाला 3 अच्छा 4 खरा
अधस्तन-सं० (वि०) 1 नीचे का 2 अधीनस्थ अद्वैध्य-सं० अविभाजन योग्य। -मित्र (पु०) असंदिग्ध अधस्तल-सं० (पु०) 1 नीचे का तल, सतह 2 तहख़ाना मित्रता
अधस्थ-सं० (वि०) नीचे रहकर कार्य करनेवाला । अधः-सं० (अ०) नीचे, तले। ~काय (पु०) नाभि के नीचे अधात्विक-सं० (वि०) जिसमें धातु तत्त्व न हो
का शरीर; -पतन; ~पतित (वि०) दुर्दशा ग्रस्त; पात अधात्वीय-सं० (वि०) जो धातु से न बना हो (पु०) नीचे गिरना, गिरावट; ~स्वस्तिक (पु.) अधोबिंदु अंधाधुंध-(क्रि० वि०) बिना सोचे समझे अध-(वि०) आधा। -कचरा; कच्चा (वि०) 1 अपक्व अधारिया-(पु०) बैलगाड़ी में गाड़ीवान के बैठने का स्थान 2 अधूरा 3 अकुशल, ~कछार (पु०) पहाड़ की तलहटी अधारी-I (स्त्री०) आधार II (वि०) अच्छी लगनेवाली की ढालू ज़मीन; -कपारी (स्त्री०) आधे सिर का दर्द; अधार्मिक-सं० (वि०) दुष्कर्मी या पापी ~करिया; ~करी (स्त्री०) मालगुजारी की आधी किश्त; अधावट-(वि०) औटकर आधा किया हुआ ~कहा (वि०) अस्पष्ट रूप से कहा हुआ; खिला अधि-(उप०) ऊपर, अधिक (वि०) अद्धविकसितः खला (वि०) अर्धोन्मीलित; अधिक-सं० (वि०) 1बहुत 2 बढ़ा हुआ 3 साधारण
~गोरा (वि०) यूरेशियन, ऐंग्लोइंडियन; ~गोहआँ (पु०) | 4 अतिरिक्ति। -तिथि (स्त्री०) दो दिन मानी जानेवाली आधे गेह और आधे जौ का मिश्रण; चरा (वि०) आधा | तिथि; ~कोण 90° से ज्यादा तथा 180° से कम