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कावर तन्त्र शास्त्र | ५३
सिद्ध हो जाता है । फिर ४ लौंग को ७ बार मन्त्र पढ़कर अभिमन्त्रित कर, जिसे खिला देंगे, वह मोहित होकर हाजिर होगा ।
विशेष
उक्त मन्त्र में जहाँ " फलाना के पास सों फलाना कने" शब्द आया है, वहाँ स्त्री जिस पुरुष के पास रहती हो पहले उसके नाम का और बाद में अपने नाम का उच्चारण करना चाहिए । तेल मोहिनी मन्त्र (1)
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मन्त्र- "ॐ मोहना राणी मोहना राणी चली सैर को, सिर पर धरे तेल की दोहनी, जल मोहूं थल मोहूं मोहूं सब संसार, मोहना राणी पलंग चढ़ बैठी मोह रहा दरबार, मेरी भक्ति गुरू की भक्ति दुहाई गौरा पारवती की, दुहाई बजरंगवली की ।"
साधन-विधि
इत्र, मिठाई, दीपक तथा लोबान लेकर, दीपावली की रात्रि में २२ माला जपने से मन्त्र सिद्ध हो जाता है ।
प्रयोग-विधि
उक्त सिद्ध मन्त्र से ७ बार अभिमन्त्रित-तल की बिन्दी अपने मस्तक पर लगा कर राज दरबार में जाने से वहाँ उपस्थित सब लोग मोहित हो जाते हैं । यदि ७ बार अभिमन्त्रित तैल को साध्य-स्त्री के अंग से लगा दिया जाय तो वह मोहित होकर, साधक के वश में हो जाती है ।
तेल मोहिनी मन्त्र (२)
साधन एवं प्रयोग विधि-
मन्त्र – “ ॐ नमो भोहना राणी पलंग चढ़ बैठी मोह रहा दरबार, मेरी अति गुरु की शक्ति दुहाई लोना चमारी की दुहाई गौरा पार्वती की दुहाई बजरंगबली की ।"
मन्त्र संख्या १ के अनुसार ।
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