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६० / शावर तन्त्र शास्त्र
फिर वटुक के निमित्त किसी कुमार (बालक) को भोजन करायें तथा उक्त मन्त्र द्वारा चन्दन को १०८ बार अभिमन्त्रित करके, उसका तिलक कुमार के मस्तक (ललाट) पर लगायें। तत्पश्चात् जिस व्यक्ति को वश में करना हो, उसका ध्यान करते हुए बटुक (बालक) से संभाषण (वार्तालाप) करें तो वह अवश्य वशीभूत हो जाएगा।
वशीकरण प्रयोग (२)
मन्त्र-"ॐ मोंडो।" साधन एवं प्रयोग-विधि
इस मन्त्र का बिना भोजन किये ही ५०० बार जप करें। जिस व्यक्ति को वशीभूत करने की इच्छा से इस मन्त्र का जप किया जाता है, वह साधक के वशीभूत हो जाता है।
वशीकरण प्रयोग (३)
मन्त्र- 'ॐ ह्रीं मोहिनी स्वाहा ।' साधन एवं प्रयोग विधि
यह मन्त्र १०००० की संख्या में जपने से सिद्ध हो जाता है । मन्त्र के सिद्ध हो जाने पर जल, पुष्प, वस्त्र अथवा किसी उत्तम फल को इस सिद्ध मन्त्र से १०८ बार अभिमन्त्रित करके जिस व्यक्ति के हाथ में दे दिया जाता है, वह साधक के वशीभूत हो जाता है।
वशीकरण प्रयोग (४)
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मन्त्र-“चामुण्डे ज़ुभ मोहये वशमानय स्वाहा।"
यह वशीकरण हेतु चामुण्डा का मन्त्रा है। मन्त्र का जप करने से पूर्व निम्नानुसार चामुण्डा देवी का ध्यान करना चाहिए--- ध्यान मन्त्र-“दंष्ट्राकोटिविशंकटा सुवदना
सान्द्रान्धकारे स्थिता। खटांगासित मूढदेच्छित करा वामेशया संशिरः॥
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