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लेश्या-कोश तेजोलेशी जीव ( एकवचन ) कदाचित् सप्रदेशी, कदाचित् अप्रदेशी होता है । तेजोलेशी असुरकुमार यावत् वैमानिक देव ( अग्निकायिक, वायुकायिक, तीन विकलेन्द्रिय बाद ) कदाचित् सप्रदेशी, कदाचित् अप्रदेशी होता है। तेजोलेशी जीवों ( बहुवचन ) में पहला, अथवा पाँचवाँ अथवा छठा विकल्प होता है। तेजोलेशी असुरकुमारों यावत् वैमानिक देवों, ( पृथ्वीकायिकों, अपकायिकों, वनस्पतिकायिकों को छोड़कर ) में पहला अथवा पाँचवाँ अथवा छठा विकल्प होता है। तेजोलेशी पृथ्वीकायिकों, अप्कायिकों, वनस्पतिकायिकों में छओं विकल्प होते हैं। ___ पद्मलेशी-शुक्ललेशी जीव ( एकवचन ) कदाचित् सप्रदेशी, कदाचित् अप्रदेशी होता है। पद्मलेशी-शुक्ललेशी तिर्यञ्च पंचेन्द्रिय, मनुष्य, वैमानिक देव, कदाचित् सप्रदेशी होते हैं, कदाचित् अप्रदेशी होते हैं। पद्मलेशी-शुक्ललेशी जीवों ( बहुवचन ) में पहला अथवा पाँचवाँ अथवा छठा विकल्प होता है। पद्मलेशीशुक्ललेशी तिर्यञ्च पंचेन्द्रिय, मनुष्य, वैमानिक देवों में पहला अथवा पाँचवाँ अथवा छठा विकल्प होता है।
अलेशी जीव ( एकवचन ) कदाचित सप्रदेशी, कदाचित अप्रदेशी होता है। अलेशी सिद्ध, मनुष्य कदाचित् सप्रदेशी, कदाचित् अप्रदेशी होता है। अलेशी जीव ( बहुवचन ) में पहला अथवा पाँचवाँ अथवा छठा विकल्प होता है । अलेशी सिद्धों में पहला अथवा पाँचवाँ अथवा छट्ठा विकल्प होता है। अलेशी मनुष्यों में छओं विकल्प होते हैं।
'६७ सलेशी जीव के लेश्या की अपेक्षा उत्पत्ति-मरण
के नियम .६७ १ लेश्या की अपेक्षा जीव-दण्डक में उत्पत्ति-मरण के नियम
से नूणं भंते ! कण्हलेसे नेरइए कण्हलेसेसु नेरइएसु उववज्जइ, कण्हलेसे उववट्टइ, जल्लेसे उववज्जइ तल्लेसे उववइ ? हंता गोयमा ! कण्हलेसे नेरइए कण्हलेसेसु नेरइएसु उववज्जइ, कण्हलेसे उववट्टइ, जल्लेसे उववज्जइ तल्लेसे उववट्टइ, एवं नीललेसे वि, एवं काउलेसे वि, एवं असुरकुमाराण वि जाव थणियकुमारा, नवरं लेसा अब्भहिया । से नूणं भंते ! कण्हलेसे पुढविकाइए कण्हलेसेसु पुढविकाइएसु उववज्जइ, कण्हलेसे उववइ, जल्लेसे उववज्जइ तल्लेसे
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