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लेश्या-कोश
५११ श्रीमान् श्रीचन्दजी सा० चोरड़िया, जो जैन दर्शन के मर्मज्ञ विद्वान है, कोश कार्य संचालित कर रहे हैं। चोरड़ियाजी मेरे पुराने साथी है। वे बड़े योग्य है। जैन दर्शन समिति की ओर से प्रकाशित लेश्या कोश, क्रिया कोश आदि ग्रन्थ वास्तव में जैन अनुसंधान के क्षेत्र में बड़ी महत्वपूर्ण रचनाए हैं। कोशों का बहुत सदुपयोग होगा।
-छगनलाल शास्त्री
लेश्या कोश, क्रिया कोश, योग कोश
इन तीनों के सम्पादक है-स्व० मोहनलालजी बांठिया तथा श्रीचन्दजी चोरड़िया। सम्पादक द्वय ने लेश्या, क्रिया और योग के बिखरे संदर्भो को जैन आगम साहित्य से एकत्रित कर उनके सुसंयोजित रूप को लेश्या कोश, क्रिया कोश और योग कोश के रूप में प्रकाशित किया है। सारा विषय उप बिन्दुओं में विभक्त है तथा हिन्दी भाषा के अनुवाद से अन्वित है। लेश्या कोश सन् १९६६ में, क्रिया कोश सन् १९६६ में जैन दर्शन समिति, कलकत्ता से प्रकाशित
श्री भिक्षु आगम विषय कोश से उद्धत ।
-गणाधिपति तुलसी
-आचार्य महाप्रज्ञ लेश्या कोश व क्रिया कोश में गहन अध्ययन परिलक्षित होता है। बड़े परिश्रम के साथ लिखे गये हैं।
--मुनिश्री जयंतीलालजी श्रीचन्दजी चोरड़िया न्याय तीर्थ--एक विद्वान व्यक्ति है। इन्होंने लेश्या आदि कई कोशों का निर्माण किया है।
-साध्वी सोमलता . श्रीचन्द चोरड़िया ने साहित्य क्षेत्र में बहुत कार्य किया है। दिल्ली, २ अक्टूबर, १९६६
-आचार्य महाप्रज्ञ श्रीचन्द चोरड़िया ने लेश्या कोश आदि कर्म ग्रन्थों की रचना की है।
-भंवरलाल सिंघी
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