Book Title: Bharatvarshiya Prachin Charitra Kosh
Author(s): Siddheshwar Shastri Chitrav
Publisher: Bharatiya Charitra Kosh Mandal Puna
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रिक्ष
रिक्ष - ( सो. नील) नीवंशीय चक्षु राजा का नामान्तर (चक्षु २. देखिये ) ।
रिपु - (सो. ह्यु.) एक राजा, बभ्रु राजा का पुत्र था ।
रुपम (सो. फोट) एक यादवराजा,
जो भागवत
२. (सो. पुरूरवस् ) एक राजा, जो भागवत के अनुसार के अनुसार रुचक राजा का पुत्र था। इसके भाई का यदु राजा का पुत्र था। नाम पृथु था, जिस कारण इन दोनों का एकत्र निर्देश रिपुंजय -- (सो. द्विमी. ) एक राजा, जो भागवत अनेक ग्रंथों में प्राप्त है । के अनुसार सुवीर राजा का पुत्र था । इसे नृपंजय नामान्तर भी प्राप्त था ।
प्राचीन चरित्रकोश
जो बाबु
| के अनुसार
२. (स्वा. उत्तान. ) एक राजा, जो ध्रुवपुत्र शिष्ठ राजा के चार पुत्रों में से एक था। इसकी माता का नाम सुच्छाया था।
२. (सो. मगध भविष्य.) मगधवंशीय महाबाहु राजा का नामान्तर । ब्रह्मांड में इसे संजय का पुत्र कहा गया श्रुतंजय है ( महाबाहु ३. देखिये) ।
४. (सो. मगध भविष्य) मगधदेश का एक राश, जो विष्णु के अनुसार विश्वजित का, एवं मत्स्य के अनुसार अचल राजा का पुत्र था। वायु एवं ब्रह्मांड में इसे अरिंजय, तथा भागवत में इसे पुरंजय कहा गया है । इसने पचास वर्षों तक राज्य किया। इसके शुनक नामक प्रधान ने इसका वध कर अपने प्रयोत नामक स्वतंत्र राजवंश की स्थापना की।
७. एक ब्राह्मण, जो अपने अगले जन्म में काशी देश के दिवोदास नामक राजा बना। एक बार काशीदेश में से अग्नि लुप्त हुआ, जिस समय इसने स्वयं अग्नि का काम निभाया (स्कंद ४.२.१९५८ ) ।
रिपुताप - एक शूर योद्धा, जो शत्रुघ्न के साथ राम के अधमेषीय अथ के संरक्षण के लिए उपस्थित था (पद्म. पा. ११ ) ।
रिपुवार -- वीरमणि राजा का सेनापति । वीरमणि के द्वारा राम का अश्वमेधीय अश्व पकड़ लिये जाने पर इसने शत्रु के साथ युद्ध किया था।
रिष्ट-- वैवस्वत मनु के पुत्रों में से एक ।
२. यम सभा में उपस्थित एक राजा (म. स. ८. १४ ) |
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रुक्मरथ
रुक्मकवच - एक यादवराजा, जो मत्स्य एवं वायु के अनुसार कंबल बर्हिष राजा का पुत्र था । विष्णु एवं पद्म में इसे शिने राजा का एवं भागवत में इसे चक राजा का पुत्र कहा गया है ।
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रुक्मकेश एक राजकुमार जो विदर्भदेशाधिपति भीष्मक राजा के पाँच पुत्रों में से चौथा पुत्र था (भा. १०.५२.२२ ) ।
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रुक्मबाहु एक राजकुमार जो विदर्भदेशाधिपतिं भीष्मक राजा के पाँच पुत्रों में से तीसरा पुत्र था ( मा. १०.५२.२२) ।
५. एक ब्राह्मण, जो उदारधी एवं भद्रा के दो पुत्रों में भीष्मक राजा के पाँच पुत्रों में से पाँचवा ( भा. १०.५२.२२ ) । से एक था ।
६. कुण्डल नगरी के सुरथ राजा का पुत्र । सुरथ ने राम का अश्वमेधीय अश्व पकड़ लिया था । उस समय शत्रु के साथ हुए युद्ध में, वह सुरथ के साथ युद्धभूमि में प्रविष्ट हुआ था (पद्म. पा. ४९ ) ।
रुक्मभूषण - - विदिशा नगरी का एक राजा, जो ऋतु ध्वज राजा का पुत्र था । इसके पुत्र का नाम धर्मोगद था ( धर्माद देखिये) ।
रुक्ममालिन एक राजकुमार जो विदर्भदेशाधिपति
रुक्मरथ-- एक राजकुमार, जो विदर्भदेशाधिपति भीष्मक राजा के पाँच पुत्रों में से दूसरा पुत्र था ( भा. १०.५२.२२) । द्रौपदी स्वयंवर के समय यह उपस्थित था (म. आ. १७७.१२ ) ।
२. मद्र देशाधिपति शल्य राजा का ज्येष्ठ पुत्र, जो अपने पिता एवं भाई रुक्मांगद के साथ द्रौपदीस्वयंवर उपस्थित था ( म. आ. १७७.१३) ।
में
भारतीययुद्ध में यह कौरवों के पक्ष में शामिल था। युद्ध के प्रारंभ में इसका श्वत से युद्ध हुआ था, जिसके बाणों से यह आहत हुआ था (म. भी. परि. १. क्र. ४. पंक्ति १० ) ।
इसका अभिमन्यु से युद्ध हुआ था, जिसमें यह एवं इसके अन्य भाई मारे जाने का निर्देश प्राप्त है ( म. द्रो. ४४.१२ ) । किन्तु सहदेव के द्वारा इसका वध होने का निर्देश भी महाभारत में अन्यत्र प्राप्त है (म.क. ४.२७) । रिषा -- कश्यप एवं क्रोधा की एक कन्या, जो धर्म इनमें से अभिमन्यु के द्वारा इसका वध होने की ऋषि की पत्नी थी। संभावना अधिक प्रतीत होती है। सहदेव के द्वारा मारा
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