________________ : सन्दर्भ 1. उत्तराध्ययन 35/14, व्याख्या-प्रज्ञप्ति 5/6/5 2. ज्ञाताधर्मकथांग 15/6, उपासकदशांग 1/12 दशवैकालिक 5/71-72 व्यवहार-सूत्र 9/19-20 ज्ञाताधर्मकथांग 1/138 6. निशीथचूर्णि 4.5750, 2.1191 __उपासकदशांग प्रथम अध्ययन 8. निशीथचूर्णि 2.1735 9. ज्ञाताधर्मकथांग 15/12 10. जैन, कमल (डॉ.) प्राचीन जैन साहित्य में आर्थिक जीवन, प.-112 एवं देखें 'सार्थवाह' - डॉ. मोतीचन्द्र। . 11. जैन, प्रेम सुमन (डॉ.) जैन साहित्य की सांस्कृतिक भूमिका, पृ.-22 12. आवश्यकचूर्णि भाग 1 13. कल्पसूत्र सूत्र-4 14. ज्ञाताधर्मकथांग 15/6, 15/11 15. ज्ञाताधर्मकथांग 5/7 16. अनुत्तरोपपातिक 3/1/2 17. जम्बूद्वीपप्रज्ञप्ति टीका 3.193 18. जैन, जगदीश चन्द्र (डॉ.) जैन आगम साहित्य में भारतीय समाज, पृ.-164 19. ज्ञाताधर्मकथांग 8वाँ अध्ययन 20. ज्ञाताधर्मकथांग 8वाँ अध्ययन 21. व्याख्या-प्रज्ञप्ति 1/16 (156)