Book Title: Bhagwati Sutra Part 02
Author(s): Kanakprabhashreeji, Mahendrakumar Muni, Dhananjaykumar Muni
Publisher: Jain Vishva Bharati
View full book text
________________
भगवती सूत्र
श. २५ : उ. ४ : सू. १७६-१८४ गौतम! ओघादेश से स्यात् कृतयुग्म हैं, व्योज नहीं हैं, स्यात् द्वापरयुग्म हैं, कल्योज नहीं हैं; विधानादेश से कृतयुग्म नहीं हैं, त्र्योज नहीं हैं, द्वापरयुग्म हैं, कल्योज नहीं हैं। १७७. (अनेक) त्रि-प्रदेशी स्कन्ध ......? पृच्छा।
गौतम! ओघादेश से स्यात् कृतयुग्म हैं यावत् स्यात् कल्योज हैं; विधानादेश से कृतयुग्म नहीं हैं, त्र्योज हैं, द्वापरयुग्म नहीं हैं, कल्योज नहीं हैं। १७८. (अनेक) चतुः-प्रदेशी स्कन्ध......? पृच्छा। गौतम! ओघादेश और विधानादेश से भी कृतयुग्म हैं, त्र्योज नहीं हैं, द्वापरयुग्म नहीं हैं, कल्योज नहीं हैं। (अनेक) पञ्च-प्रदेशी स्कन्ध परमाणु-पुद्गलों की भांति हैं (भ. २५/१७५)। (अनेक) षट्-प्रदेशी स्कन्ध (अनेक) द्वि-प्रदेशी स्कन्धों की भांति हैं (भ. २५/१७६)। (अनेक) सप्त-प्रदेशी स्कन्ध (अनेक) त्रि-प्रदेशी स्कन्धों की भांति हैं (भ. २५/१७७)। (अनेक) अष्ट-प्रदेशी स्कन्ध (अनेक) चतुः-प्रदेशी स्कन्धों की भांति हैं (भ. २५/१७८)। (अनेक) नव-प्रदेशी स्कन्ध (अनेक) परमाणु-पुद्गलों की भांति (भ. २५/१७५)। (अनेक) दस-प्रदेशी स्कन्ध (अनेक) द्वि-प्रदेशी स्कन्धों की भांति हैं (भ. २५/१७६)। १७९. (अनेक) संख्येय-प्रदेशी पुद्गल-स्कन्ध......? पृच्छा। गौतम! ओघादेश से स्यात् कृतयुग्म हैं यावत् स्यात् कल्योज हैं; विधानादेश से कृतयुग्म भी हैं यावत् कल्योज भी हैं। इसी प्रकार (अनेक) असंख्येय-प्रदेशी पुद्गल-स्कन्ध, (अनेक)
अनन्त-प्रदेशी पुद्गल स्कन्ध वक्तव्य हैं। १८०. भन्ते! (एक) परमाणु-पुद्गल क्या कृतयुग्म-प्रदेशावगाढ़ है......? पृच्छा। गौतम! कृतयुग्म-प्रदेशावगाढ़ नहीं है, त्र्योज-प्रदेशावगाढ़ नहीं है, द्वापरयुग्म-प्रदेशावगाढ़ नहीं है, कल्योज-प्रदेशावगाढ़ है। १८१. (एक) द्वि-प्रदेशी स्कन्ध.....? पृच्छा। गौतम! कृतयुग्म-प्रदेशावगाढ़ नहीं है, योज-प्रदेशावगाढ़ नहीं है, स्यात् द्वापरयुग्म-प्रदेशावगाढ़ है, स्यात् कल्योज-प्रदेशावगाढ़ है। १८२. (एक) त्रि-प्रदेशी स्कन्ध........? पृच्छा। गौतम! कृतयुग्म-प्रदेशावगाढ़ नहीं है, स्यात् त्र्योज-प्रदेशावगाढ़ है, स्यात् द्वापरयुग्म-प्रदेशावगाढ़ है, स्यात् कल्योज-प्रदेशावगाढ़ है। १८३. (एक) चतुः-प्रदेशी स्कन्ध.....? पृच्छा। गौतम! स्यात् कृतयुग्म-प्रदेशावगाढ़ है यावत् स्यात् कल्योज-प्रदेशावगाढ़ है। इसी प्रकार यावत् ? (एक) अनन्त-प्रदेशी स्कन्ध वक्तव्य है। १८४. भन्ते! (अनेक) परमाणु-पुद्गल क्या कृतयुग्म-प्रदेशावगाढ़ हैं......? पृच्छा। गौतम! ओघादेश से कृतयुग्म-प्रदेशावगाढ़ हैं, योज-प्रदेशावगाढ़ नहीं हैं, द्वापरयुग्म-प्रदेशावगाढ़ नहीं हैं, कल्योज-प्रदेशावगाढ़ नहीं हैं; विधानादेश से कृतयुग्म-प्रदेशावगाढ़ नहीं
८०७