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अपंतग ]
( १४५)
[ भणंतर
भयंतए ? भणंतए तिविहे पण्णत्ते, तंजहा परित्ताण्तए जुत्ताणतए भणंताणंतए" अणुजो० (४)उनुं वन; भणगेरे. कम्मल वगैरह ऊनी वन. woollen clothes such as blankets etc. ओघ. नि०१६ अणंतग. त्रि. (मानम्तक) शवानी से
मेह. संख्या का एक भेद. Mode of numerical calculation. “ पंचविहे
मणंतगे परणते " ठा० ५, ३; अणंतजिण. पुं० (अनन्तजिन) यालु अवसर्पि
शीता भरतक्षेत्रन। १४ मा तीर्थ४२. वर्तमान अवसर्पिणी काल के भरतक्षेत्र के १४ वें तीर्थकर. The fourteenth Tirthankara of the Bharata Kşetra of the
present Avasarpini. प्रव० २६४; अणंतत्थ. पुं० (अनन्तार्थ ) ४२५तक्षेत्रना
આવતી ચોવીસીના વીસમા તીર્થંકરનું નામ. इरवतक्षेत्र के आगामी चौवीसी के २० वें तीर्थकर का नाम. Name of the 20th | Tirthankara of Iravata Kşetra in the coming Chovisi. प्रव०
पांचवाँ भेद. the 5th division of the 2nd Vibhāga Sūtra of the 12th
Aliga viz. Dristivada, which is no longer extant. नंदी. ५६;
-भागम. न० (-आगम) तीरे - ધરને સંભળાવેલ આગમ; આગમનો એક मेह. तीर्थंकरों ने गणधरों को सुनाया हुभा आगम; आमम-शास्त्र का एक प्रकार. a mode or variety of scriptures; a division of scriptures. भग.५,४, सूय. नि.टी. ,.,, २८%
-आहार. पुं० (-अाहार) ७३ GAR થયા પછી પહેલે સમયે લીધે અહાર. उत्पन्न होने के बाद पहिले समय में जाव ने लिया हुआ आहार. the first food taken after birth hy a living being. भग० १३, ३;--आहारग. पुं०(-पाहारक)
જીવના પ્રદેશની છેક પાસે રહેલા–આંતરા રહિત રહેલા પુદ્ગલને આહાર કરનાર નારકી વગેરે ०३. जीव के प्रदेश के बिल्कुल पास वाले पुद्गल का आहार करने वाले नारकी वगैरह uffa. hellish beings eating matter in immediate contaet with living beings. भग० २६, ६; ३३, ६; ठा. १०; (२) पन या ५७ी पडेले समये साहार बना२. उत्पन्न होने के बाद पहिले समय में आहार लेने वाला. one taking food in the first moment after birth. पन्न० ३४, ठा. १०;-उवणिहा. लो. (-उपनिधा-उपनिधाममुपनिधा, चमन्तरेणोपनिधाऽनन्तरोपनिधा-मार्गणा) अनन्तरજેડના ગસ્થાન સાથે તેના પછીના યોગस्थानी मार्गा! ५२वी ते. मिले हुए योगस्थान के साथ उसके पीछे के योगस्थान की मार्गणा करना. investigation of an immediately succeeding Yoga.
अणंतर.न. (अनन्तर) अन्तरविना अन्तर
२खित. अन्तर बिना; अन्तर हान. Without intervening space; spaceless. नाया.१८; १५; १६% भग०२,१५,१४, १२,८,१३, १५, १; १६,३,३२,१३४, ४; (२) ५छी; पाइ. पश्चात् ; बाद. afterwards; then. पन० २; दसा० १०, ३; राय० ६६; कप्प० १,२; क. प० २, ५; (3) न . नजदीक; पास. adjoining; close | to. पिं० नि० २७६; ( ४ ) विछे गये। બારમાં દષ્ટિવાદ અંગના બીજા વિભાગ- 1 सूत्रनी पांयम मे. विच्छेद हुए बारहवें | रष्टिवाद अङ्ग के दूसरे विभागसूत्र का |
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