Book Title: Ardhamagadhi kosha Part 1
Author(s): Ratnachandra Maharaj
Publisher: Motilal Banarasidas

View full book text
Previous | Next

Page 444
________________ अभिवाहरणा ] ( ३६४) [ अभिसंभूय अभिवाहरणा.स्त्री० (अभिव्याहरणा) गुरु शि- श्रभिसंग. पुं० (अभिष्वङ्ग ) भाव रा व्यनीति अत्युक्ति-सपास याम; संवाद. द्रव्याहि प्रतिबंध. भाव राग; द्रव्यादि प्रतिबंध. गुरुशिष्य की उक्ति प्रत्युक्ति प्रश्नोत्तर संवाद. A Attachment to wealth etc. ठा. dialogue or discussion between a Guru and his disciple पंचा. | अभिसंजाय. त्रि० (अभिसात) सन सव. २, २६; स्थामांथी पेशी मने. कलल अवस्था में अभिवाहार. पुं० (अभिव्याहार-अभिव्याहरण से पेशीरूप बना हुआ. Formed in the मभिन्याहारः ) मालिश्रुतपरत्वे शिष्य shape of a womb. पाया० १, ६, १, १७६; गुरुना संवाद-सपास या. कालिक श्रुत सम्बन्धी गुरु शिष्य का संवाद. A religious V अभिसंधार. धा. II. (अभि + सम् + +णि.) सं४६५ मांधवा; भनमा पाए। discussion between a Guru and १२वी; विया२ मांधा. संकल्प करना; विचार his disciple. विशे० ३४१२; अभिविहि. पुं० (अभिविधि ) वरतुनी करना; मन में धारणा करना. To conceive; to imagine; to think. सई त२५; यारे पा. किसी भी वस्तु के सब | अमिसंधारेइ. निसी० ६, ८, १६, १७, १७, तर्फ; चारों ओर. Complete comprehension or inclusion. “मालोयणं प्रकिछ, अभिविहिणा दसणं तिलिंगेहिं " अभिसंधिज. न० (अभिसन्धिज ) मुद्धि ઈરાદાપૂર્વક કરવામાં આવતી ક્રિયારૂપે पंचा० १५, २; परिमना२ वी; वीना से प्रा२. वीर्य अभिवुढि . पुं० (अभिवृद्धि ) उत्तरभाद्र ५६ का एक प्रकार; बुद्धिपूर्वक की जाती हुई किया नक्षत्र. उत्तराभाद्रपद नक्षत्र. The constel के रूप में परिणमने वाला वीर्य. The lation named Uttara Bhädra vital power which finde expada. जं० प० ७ pression in a volitional act; a अभिवुड़िढत्ता. स० कृ० अ० (अभिवर्ध्य ) variety of vital power. क. प. पृद्धि शन; धारीत. बढ़ाकर. Having | १, ३; increased; having caused to | अभिसंबुद्ध. त्रि. (अभिसम्बुद्ध)विज्ञान मेलincrease. सू. प. १; वेस; माघ पाभेत. बोध को प्राप्त; विज्ञान को अभिसंका. स्त्री. ( अभिशङ्का ) आशा | प्राप्त. Enlightened; instructed. संशय. आशंका; संदेह. Doubt; sus- | श्राया० १, ६, १, १७६; picion. “भूयाभिसंकाइ दुगुच्छमाणे" | अभिसंभूय. त्रि० (अभिसम्भूत ) प्रादुर्भाव सूय. १, १४, २०; पामेन; 2 मेस. जिसका प्रादुर्भाव हुआ हो अभिसंकि. त्रि. (अभिशकिन् ) शं।२५. बह; उत्पन्न; प्रकटीभूत. Manifested; ना२. शंका रखने वाला. ( Oue ) doubt- come to light. पाया० १, २, ३, १; ing or suspecting. "उज्जू माराभि- (२) पार्य सने रुधिरना भिश्रयी संकी मरणा पमुच्चति" प्राया० १, ३, १, सतरूपे थमेस. वीर्य और रुधिर के मिश्रण से कललरूप बना हुआ. formed Jain Education International For Private & Personal Use Only www.jainelibrary.org

Loading...

Page Navigation
1 ... 442 443 444 445 446 447 448 449 450 451 452 453 454 455 456 457 458 459 460 461 462 463 464 465 466 467 468 469 470 471 472 473 474 475 476 477 478 479 480 481 482 483 484 485 486 487 488 489 490 491 492 493 494 495 496 497 498 499 500 501 502 503 504 505 506 507 508 509 510 511 512 513 514 515 516 517 518 519 520 521 522 523 524 525 526 527 528 529 530 531 532 533 534 535 536 537 538 539 540 541 542 543 544 545 546 547 548 549 550 551 552 553 554 555 556 557 558 559 560 561 562 563 564 565 566 567 568 569 570 571 572 573 574 575 576 577 578 579 580 581 582 583 584 585 586 587 588 589 590 591