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देशी शब्दकोश
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दुग्घुट्ट-हाथी (दे ५।४४)। दुघाण-दुभिक्ष-'दुघाणं ति वा दुभिक्खं ति वा एगलैं' (बृचू प १४८)। दुच्चंडिअ-१ दुर्ललित । २ दुःशिक्षित, दुर्विदग्ध (दे २५५) । दुच्चंबाल-१ झगड़ालू । २ दुश्चरित । ३ परुषभाषी (दे ॥५४) । दुज्जाय-कष्ट, दुःख, उपद्रव (दे ५।४४) । दुट्ठ-द्वेषयुक्त (ओनि ७५८) । दुट्ठस्स-गर्दभ (बृटी पृ ४५०) । दुणा-दुर्गन्धयुक्त-'जाणि एयाणि खारकडुयाणि दुणापाणियाणि उवभुंजेह'
(आवहाटी २ पृ ४४) । दुणियत्थ-जांघ तक पहना हुआ वस्त्र (बृभा ४११२) । दुण्णिअत्थ-१ जघन पर पहना हुआ वस्त्र । २ जघन (दे ५।५३) । दुण्णिक्क-दुश्चरित (दे ५५४५) । दुण्णिखित्त-१ दुश्चरित (दे ५।४५) । २ दुर्दर्श, जो कष्ट से देखा जा सके
(वृ)। दुत्ति-शीघ्र (दे ५१४१) । दुत्थ-जघन (दे ५४२) । दुत्थुरहंड-कलहकारी पुरुष (दे ५।४७ वृ) । दुत्थरहंडा-कलह करने वाली स्त्री (दे ५१४७) । दुत्थोह-अभागा (दे ५।४३) । दुद्दम-देवर, पति का छोटा भाई (दे ५।४४) । दुद्दोली-वृक्ष-पंक्ति (दे ॥४३) । दुद्धअ-समूह (दे ५५४२) । दुद्धगंधिअमुह-बालक, शिशु (दे ५०४०)। दुद्धगंधिअमुही-छोटी लड़की (पा ६६) । दुद्धट्टी-१ खट्टी छाछ आदि से मिश्रित दूध, किलाटिका-'अंबिलजुयंमि दुद्धे
दुद्धट्टी' (प्रसाटी प ५४) । २ प्रसूति के बाद तीन दिन तक का
गो-दुग्ध । दृद्धद्री-१ खट्टी छाछ आदि से मिश्रित दूध, किलाटिका, बलाई
(प्रसाटी प ५४) । २ प्रसूति के बाद तीन दिन तक का गो-दुग्ध । दुद्धवलेही-चावल का आटा डालकर पकाया गया दूध-'तंडुलचुण्णयसिद्धमि
अवलेही' (प्रसाटी प ५४) ।
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