________________ भाषाटीकासहित... 17 राजाओंके कुलको परिवारसहित समूल भस्म करदेता है // 38 // इस प्रकार धर्मयुक्त नीतिके अनुकूल, करुणा भरे, कपट रहित, समान और अति उत्तम द्रौपदीके वचनकी धर्मराज युधिष्ठिरने सराहना करी // 39 // और नकुल, सहदेव, सात्यकि, अर्जुन, देवकीसुत भगवान श्रीकृष्ण तथा अन्य उपस्थित पुरुष एवं स्त्रियोंनेभी द्रौपदीके कथनकी सराहनकरी तथा महाभारतमें लिखा है कि जिससमय धर्मराज युधिष्ठिरने जुवां में द्रौपदीको "हार दिया उस समय दुर्योधनने चाहा कि द्रौपदीको नम करूं, तब द्रौपदीने भरी सभाके बीच भीस्मआदि महा। वीरोंके सन्मुख कहा कि मेरा पति मुझको किसप्रकार हारै गा, क्योंकि मैं आधा अंगहूं, स्वामीने यदि अपने अंगको हारदिया, तो मुझको दावपर किसनेरकरखा वा क्योंकि वे तो हारेही गये अब विचार करना चाहिये कि क्या विना विद्या पढे ऐसी बातोंका ज्ञान होसकता है // 40 // . P.P.Ac. Gunratnasuxi.M.S. Sun Aaradhak Trust