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बल का अल्पबहुत्व
१
३२-वृषभ
बारह " " ३३-अश्व
दश " "
बारह " " ३५-हाथी
पाचसौ ३६-सिह ३७---अष्टापद
दो हजार ३८-बलदेव
दस हजार , ३९-वासुदेव ४०-चक्रवर्ती
दो , , ४१--व्यन्तर देव
बल क्रोड गुणा अधिक ४२-नागादि भवनपति
___असंख्य , , ४३-असुर कुमार देवता ४४.--तारा
" " ४५--नक्षत्र ४६--ग्रह ४७-व्यन्तर इन्द्र , ४८--नागादि देवता का इन्द्र ४६-असुर ,
" "
" ५०-ज्योतिषी ,, ५१-वैमानिक " " ५२- , , ५३–तीनो ही काल के इन्द्रो से भी तीर्थकर की कनिष्ठ अगुली
का बल अनन्त गुणा है। (तत्व केवलीगम्य )