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सांति
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सांति स्त्री० [सं० शान्ति] १ वेग. क्षोभ दुःख प्रादि से रहित स्थिति, प्रवस्था या भाव। २ स्थिरता । ३ प्राराम, चंन I ४ समाज की लड़ाई-झगड़ा व उत्पात से मुक्त प्रवस्था । ५ नीरवता निस्तब्धता मृत्यु मौत ७ धीरज, धेयं ८ निष्कलंक होने की अवस्था वासनाओं से मुक्ति, विराग । १० सोभाग्य । ११ बचाव १२ अनिष्ट निवारण। १३ रोगादि से मुक्ति । १४ युद्ध की समाप्ति । १५ मेल, मिलाप । १६ संतुष्टि । १७ दुर्गा देवी का नाम सांतिक वि० [सं० शान्तिक] का परिणाम |
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( ७५५)
सांथो-देखो 'सांठी ।
सांतिकुंभ- देखो 'सातकुंभ' |
सांति, सतिदाता (दायक, दायी) - वि० [सं० शांतिदातृ ] शान्ति देने वाला पु० भवान् विष्णु सांतिपंचमी (पांच) स्त्री० शुक्ला पचमी ।
सांध्यौ पु० स्वस्तिक |
सोबी-१ देखो 'सी' २ देखो 'सौंधी'।
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१० निर्मित करना, बनाना । सांधाखांनी- देखो 'सौंधाखांनो' ।
सांधणी स्वी० कपडे को बुनाई की एक विधि, प्रक्रिया सांधि-स्त्री० [सं०] १ सय २ संधि । सांधिक वि० [सं०] १ संधि कराने वाला । २ शराब बनाने वाला । सांधिकै सांधिको, सांधे-पु० १ संधिस्थान, जोड़ । २ सीध । सांधी पु० १ परस्पर लगाव, वास्ता, संसर्ग व सम्पर्क । २ जोड़, संधि । ३ वश, उपाय । ४ सहारा ५ देखो 'सौंधी' । शान्ति से संबंधित । पु० शांति सांन स्त्री० [अ० शान] १ इज्जत,
२ ठाट-बाट, तड़क-भड़क ४ श्रेष्ठता । ५ प्रताप, प्रभाव बावलापन । ७ निशान, झण्डा से बना वस्त्र । वि० १ तीक्ष्ण, तेज । २ देखो 'सांग' । [सं० शातिपंचमो] प्राश्विन सांगली (बो० भियना गीला करना २ पागल करना,
प्रतिष्ठा, मान-मर्यादा । ३ वात रोग, लकवा | [सं० संज्ञा ] ६ पागलपन, बुद्धि । ९ सन के रे
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बावला करना ।
सांतियात ( पातर पात्र) पु० [सं० शान्तिपात्र] क्रूर ग्रह वा सोनपत्र (पाद)- पु० [सं० शानपाद] चन्दन घिसने का पत्थर पापों की शान्ति के लिये जल रखने का पात्र ।
सांती देवो'सांति' ।
सांतीर देखो 'सहतोर'।
सांतीम सतोम (मी) देखो 'स्टोम' |
सांती, सांतो- पु० १ चोरी के उद्देश्य से दीवार में किया जाने बाला छेद, सेंध २ नुकसान, हानि ३ मोट की सिचाई के उपकरणों का समूह
तुल्य
सांथरवाड़ी-देखो 'साथरवाड़ी' । सांघरी-देखो 'साबरी'
सानु - पु० [सं० सानु ] १ पर्वत की चोटी, शिखर । २ जगल, वन । ३ पर्वत के ऊपर को चौरस भूमि । सांज-पु० [सं०] सहानुज] स्वभाव धादत प्रकृति
सोच देखो 'साथ' ।
सांची स्त्री० १ करघे के ऊपर लगी एक लकड़ी विशेष सांनुमान, सानूमान पु० [सं० सानुमम् ] पर्वत, पहाड़
२ बुनाई की एक प्रक्रिया
सोनू देखो 'सानु' ।
सांद्र - वि० [सं०] १ गंभीर, गहरा २ घना, सघन । ३ स्निग्ध, चिकना । ४ मृदु, मधुर । ५ सुन्दर, मनोहर । ६ विपुल, पर्याप्त ७ गुच्छा, समूह ।
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सांद्रप्रसाद पु० [सं०] मूत्र संबंधी एक रोग सोध- देखो 'सोधी' २ देखो 'संधि' सांधण स्त्री० [सं०]धि] जोड़ योग सांधणी (at) - क्रि० [सं०] साधन] १ निशाना साधना, प्रत्यंचा पर तीर चढ़ाना। २ कपड़े आदि के जोड़ या टांका लगाना । ३ मेल-जोल करना । ४ संधि-समझोता करना । ५ पिंडाकार या गोलाकार करना ६ जोड़ना । ७ सम्मिलित करना विलीन करना । ८ तैयार करना । ९ बनाना, गढ़ना ।
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सांवराय
सनियाफ पु० एक प्रकार का बहुमूल्य वस् सांनिज- देखो 'सांनुज' ।
सांनिद्ध, सांनिध, सांनिधि, सांनिध्य पु० [सं० सानिध्य] १ सामीप्य । २ मंगल, अमन-चैन । सांनियो-वि० १ पागल, बावला । २ चित्तभ्रम ।
सांगी, सांनी स्त्री० इशारा संकेतवि० [० बानी] समान,
सानूबाळ - पु० [सं० सानु प्रालुच ] पर्वत, पहाड़ । सांप, सांप-पु० [सं० सर्प ] सर्प, नाग ।
०१ स्नान, मज्जन २ भोपड़ियों मादि में लगाया जाने वाला एक प्रकार का बंधन | सांपडणौ (बी) - देखो 'संपड़णी' (बो) ।
पाणी (बी) पाली (बो-देखो 'पाणी' (बी)। सांप (ब)- देखो 'संपजणी' (बी)।
सांप (पी) देखो 'साली' ।
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सोल (बो-देखो ''पी' (बो)।
सांपनणी (बौ), सांपन्नणी (नौ) - क्रि० [सं० संपदनम् ] १ प्राप्त होना, मिलना २ उपस होना, पैदा होना ३ पूरा होगा, सम्पन्न होना ।
सांपरत
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परत परत सरिक सांपरब- देखो 'सांप्रत' । सांप राय- पु० [सं० साम्परायम् ] युद्ध ।