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श्री सहजानंदघन गुरूगाथा
प्रकरण-1 से 11 (Part-I) |
प्रथम भाग
अनुक्रम
"प्रतीक्षा है सूर्य की !" ............
.... आवरण पृष्ठ-२-३ प्रास्ताविक :.........
............... IV-पृष्ठांक 1 कर्णाटक की कंदराओं में भद्रबाहु से भद्रमुनि तक...................1 2 भद्रमुनि की पृष्ठभूमि ..
...........................8 3 सिद्धभूमि का इतिहास. 4 आत्मकथा-आश्रमकथा ...........
.......................... 5 स्वयंप्रज्ञ, स्वयंभद्र प्रतिमा के धारक सहजानंदघन भद्रमुनि ............... 6 साधना-सद्गुरुदेव श्री सहजानंदघनजी की सम्यगदृष्टि में ............... 7 जैन योग : वर्तमान के एक प्रयोगवीर परमयोगी .............. 8 दक्षिणापथ की साधनायात्रा + आत्मदृष्टा माताजी.......... 9 सद्गुरु पत्रधारा...
.................... 88 10 देहरथी की बाल्यावस्था : विद्यार्जन शिक्षा ..... 11 सर्वसंगपरित्याग : युवावय में + गुरुकुलवास के १२ वर्ष ....... 121-132 परिशिष्ट........
.. ..... 133 (शेष दूसरे भाग में) परिशिष्ट : दक्षिणापथ प्रतिभाव + जैन धर्म कर्णाटक में । कर्णाटक का गौरव बाहुबली (पारुल)
सहजानंदघन स्वरदेह - साहित्यसूची - प्रवचन सूची + प्रकीर्ण : गुरुकृपा के सृजन
.....................57
.......118
(xvi)