Book Title: Sahajanandghan Guru Gatha
Author(s): Pratap J Tolia
Publisher: Jina Bharati

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Page 155
________________ परिशिष्ट- २ श्री सहजानंदघन गुरूगाथा • कर्णाटक का गौरव भगवान बाहुबली इस लेख की लेखिका कु. पारुल टोलिया को स्वर्णपदक अभी-अभी संपन्न उस्मानिया विश्वविद्यालय के टैगोर आडिटोरियम में आयोजित दीक्षान्त समारोह में कु. पारुल प्रतापकुमार टोलिया को एम. ए. हिन्दी में अहिन्दी भाषी छात्र - छात्राओं में सर्वप्रथम स्थान प्राप्त करने के उपलक्ष्य में "हिन्दी प्रचार सभा हैदराबाद स्वर्णपदक" प्रदान किया गया। एम. ए. हिन्दी साहित्य में ७५ प्रतिशत जितने प्रायः अधिकांश अंक प्राप्त करने वाली एवं अभी पी. एच. डी. कर रही कु. पारुल बी. ए. एवं प्रि. युनि. परीक्षाओं में भी अग्रिमपद पर विजेता रही है । स्मरण दिलाना प्रासंगिक होगा कि उसके पिता प्रा. प्रतापकुमार टोलिया, जो कि गुजरात एवं बेंगलोर विश्वविद्यालयों में प्राध्यापक एवं प्राचार्य रह चुकने के उपरांत कई बार विश्वयात्रा करने वाले अंतर्राष्ट्रीय कलाकारसंगीतज्ञ भी हैं, इसी उस्मानिया विश्वविद्यालय के ही १९६० में उत्तीर्ण हिन्दी साहित्य के एम. ए. हैं, जिन्होंने "अर्चना" पत्रिका के सम्पादन के उपरांत अंतर् विश्वविद्यालयीन, आकाशवाणी परिसंवाद एवं वृंदगान प्रतियोगिताओं में उस्मानिया विश्वविद्यालय विजेता दल का नेतृत्व किया था । (135) "राष्ट्र नायक' : हैदराबाद (आंध्र ) Oct. 1985

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