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. स्वतंत्रता संग्राम में जैन कर सकी। 1945 से 1947 तक स्टेट कांग्रेस के में रहे। जेल में राष्ट्रीय झंडा स्वतंत्रता दिवस पर नगर महामंत्री रहे। 1951 से 1980 तक समाजवादी निकालने पर खड़ी हथकड़ी की कठोरतम सजा को आन्दोलन से जुड़े एवं पार्टी के विभिन्न उत्तरदायी आपने भोगा। पदों पर रहे श्री जैन ने आजादी के बाद भी जेल एक से एक पारिवारिक भीषण कठिनाइयों से यात्राएं की, भूमिगत रहे व आर्थिक प्रताड़नायें सहीं। न डिगने वाले मथुरा प्रसाद जी 1942 के आन्दोलन 5 जुलाई 1975 से आपातकाल के दौरान 19 माह में और अधिक सक्रिय हो उठे। कांग्रेस कमेटी, की जेल यात्रा आपने की।
ललितपुर के अध्यक्ष रहते हुए झांसी जेल में 10 माह श्री दिगम्बर जैन अतिशय क्षेत्र पपोरा जी के नजरबंद रहे। 15 अगस्त स्वतंत्रता दिवस 1947 के आप दो बार अध्यक्ष निर्वाचित हुये। आप अनेक समय आप मंडल कांग्रेस के अध्यक्ष पद पर थे। आप गजनैतिक एवं सामाजिक संस्थाओं के विभिन्न पदों ललितपुर नगरपालिका के लगभग 14 वर्ष तक सदस्य पर रहे व हैं। म0प्र0 शासन ने आपको सम्मान निधि रहे थे। प्रदान कर सम्मानित किया है। वर्तमान में आप
आ)- (1) ज।) स0 रा) आ0 (2) रा) नी. पृष्ठ-15 राजनैतिक रूप से 1980 से आज तक भारतीय
विद्यार्थी मथुरालाल जनता पार्टी से सम्बद्ध हैं। दो बार उसके जिला
'भगतजी', 'महात्माजी' जैसे उपनामों से सम्बोधि अध्यक्ष तथा दो बार प्रदेश कार्य समिति के सदस्य रह चुके हैं। 1998 में भी आप टीकमगढ़ से म)
त होने वाले झाबुआ (म0प्र0) के विद्यार्थी मथुरालाल प्रा) विधानसभा के सदस्य (विधायक) चुने गये हैं।
* विद्यार्थी जीवन से ही राष्ट्रीय आन्दोलन में सक्रिय हो आ) (1) स्व) पा) (2) वि) स्व) स0 इ.), पृष्ठ-203
आ गये थे। आप गुजरात केसरी श्री वामन राव के साले (3) श्री जय निशान्त द्वारा प्रषित परिचय (4) शा) प) बुलेटिन, के साथ गोधरा 'लॉकप' में रहे। हिन्दुस्तानी सैनिकों मार्च 1999
की रक्षा और गवर्नर का निषेध करने के लिए विद्यार्थी
जी पर्चे बांटते हुए गोधरा शहर में सैनिकों के बीच श्री मथुराप्रसाद वैद्य
जा धंसे थे, उन्हें प्राणों की परवाह न थी। अंग्रेजी की श्री मथुराप्रसाद वैद्य का जन्म 1894 में महरौनी
पढ़ाई की अपेक्षा आपने देश सेवा को उचित समझा। (ललितपुर) उ0प्र) में हुआ। आपके पिता का नाम
आपने प्रतिज्ञा की थी कि 'मैं स्वतः किसी दुकान से श्री दौलत राम जैन था।
_ विदेशी कपड़ा या अन्य विदेशी वस्तु नहीं खरीदूंगा, वेंकटेश्वर समाचार का
जब तक स्वतंत्रता नहीं होगी, स्कूल में कोट सम्पादन करते हुए आप बापू
पहनकर नहीं जाऊँगा, मैं अंग्रेजी पुस्तक खरीद कर के सम्पर्क में आये, उनके आह वान पर 1930 के ।
नहीं पढूंगा, व्यर्थ पोस्ट और ट्रेन का खर्चा नही करूंगा।'
आ0- (1) जै) स) रा) अ), पृष्ठ-6) सत्याग्रह की ओर उन्मुख हुये। नन्द किशोर किलेदार के
श्री मदनलाल जैन प्रभाव में राष्ट्रीय जन आन्दोलन में पूर्णरूपेण संलग्न श्री मदनलाल जैन तलैन, जिला- राजगढ़ वैद्य जी 1930 में ही शराबबंदी के लिये पिकेटिंग (म0प्र0) निवासी थे। आपने कक्षा 8 तक शिक्षा करते हुये गिरफ्तार हुये तथा ललितपुर व उरई जेलों ग्रहण की और स्वतंत्रता आंदोलन में सक्रिय भागीदारी
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