Book Title: Rajasthan ke Jain Shastra Bhandaronki Granth Soochi Part 2
Author(s): Kasturchand Kasliwal
Publisher: Prabandh Karini Committee Jaipur
View full book text
________________
भाषा
गुटके ]
१ गुटका नं० १७४ । पत्र सं० ५ ० । साइज-६४५ इज | लेखनकाल x। पूर्ण एवं प्रशुद्ध । दशाजीर्ण । वेष्टन नं० ३६१ ।
विशेष-त्रादि का संग्रह एवं श्रा
६८२ गुटका नं० १७५ । पत्र सं० ४५ । साइज-६x६ इच्च ! लेखनकाल - । पूर्ण एवं सामान्य शुद्ध। २. दरा-सामान्य । वेष्टन ने० ३६१ ।
विशेष-श्री रामचन्द्र कृत हिन्दी में रामविनोद है। .
१३ गुटका नं० १७६ । पत्र सं० २७१ | साइज-Ex. ६च 1 लेखनकाल सं० १७२६ । पूर्ण एवं सामान्य शुद्ध | दशा-सामान्य । वेष्टन मं० २५८ । विषय-सूची
फर्ता का नाम - . अध्यात्मोपनिषनियोग
हेमचन्द्रसूरि -
संस्कृत - एकादरी नाममाला - चित्रबन्ध दोहा
जोधराज गोदीका
हिन्दी केशरीस्तोत्र
मालामालिनी स्तोत्र - महालक्ष्मीस्तोत्र
प्रश्नोचरस्नमाला भुतबोध
कालिदास पनीश्वरों की सप्लाई व्यसंग्रह
का नेमिचन्द्र चौरासी श्रछादन सामायिक बत्तीस दोष
संस्कृत सोमंधरस्वामी स्तवन निक्रियाकर्म हद प्रतिक्रमण
प्राकृत आचर्य प्रतिक्रमण लयमूस्तोत्र
समन्तभद्र
संस्कृत
संस्कृत
प्राकृत
"
कहानि
.
....... भ. सोमकीर्धि तक
साततिक्रमणपाठ संबंध विनाश भावना -
स्वार्थसूत्र
उमास्वाति