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१०२ २१ अगुइरधु नामकर्म किभे कहते हैं।
निम कर्म के उदयसे जी का शरीर शीशे के गोले क समान न भारी हो और न असंतूल के समान हलका हो ।
, परापातनामर्म किसे कहते हैं ? ___सि कर्म के उन्य से जीव डे २ वलयानी पी -ष्टि
में भी अनेय मालुम हो। __ २३ उश्वासनामर्म किसे कहते हैं ?
जिस कर्म के उदय से बाहरी हवा को शरीर में नासिका - द्वारा सींचना (वास ) और शरीर के अपर की हवा को
नामिका द्वारा बाहर छोडना उच्वास ] ये दोनों किया हो उसको श्वासोच्छ्वाम नामकर्म कहते हैं। २१ आतापनामर्म किसे कहते हैं। ___निस कर्म के उर्दय से शरीर आतापरूप हो जैसेसूर्य मडल ।
२५ उद्योननामकर्म किसे कहते हैं १ . “चम किस कर्म के उन्य मे, उद्योत रूप शरीर हो -
६ निर्माणनामकर्म किम कहत है ।
मि कमे के उदय से अंग और उपांग शरीर में अपने २ स्थान पर व्यवस्थित रहे।