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चैत्यस्तव की ८ संपदा के नाम, प्रथम पद और पद संख्या ८. संपदा के नाम
संपदा के प्रथम पढ । सर्व पद अभ्युपगम संपदा
अरिहंत चेइआणं निमित्त संपदा
वंदण वत्तियाए हेतु संपदा
सद्धाए एक वचनान्त आगार संपदा अन्नत्य ऊससिएणं (१)सहजागार (२)अल्पागंतुक हेतु
(२-३-४) (३)बहु आगंतुक हेतु बहु वचनान्त आगार संपदा सुहमेहिं अंगसंचालेहि (नियोगजन्य)
आगंतुक आगार संपदा एवमाइएहिं (बाह्यागंतुक)
कायोत्सर्गावधि संपदा जाव अरिहंताणं ८. | स्वरूप संपदा
ताव कायं
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चैत्यवन्दना में दो गोडे भूमि पर या बाया गोडा खडा रख पेट पर दो कोणी व अञ्जलि योगमुद्रा से
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