________________ कमाउEARRESTEES द्वितीय पाठ (कर्मगाव) मात्मा का अस्तित्व माष स्वीकार किये जाने परती मास्तिर का गा सकतापरण्ठ मबस स्थान पर पर मन उपस्थित होता कि सप भारमा बान परम सुबीर वीर्य गुरुतो फिर यह दुभव पयो दो पास मम के समापान में कहा जाता है हिको के सम्बन्ध से मारमा की पनीपपणोती कि जो भारमा कमी से पिमुत पा मुहोगप वास्तष में रह भास्मिाषी से पुक्त प्रापिमा मो सांसारिफमात्माएँ पाठ प्रकार के कर्मों से पुक्त A नामा मकार के शारीरिक और मानसिक बुम्मो को मनु मव करते। मम स विषय में पर प्रम भी उपस्थित होता है फिकमी का सम्माम मामा के साप कप से एमा! इस प्रमक समापान में मिप्रतिषित समाचर परले पाहिए! H मम-पा पहिलेपमें मीर पीपे जीव है। पचर-महो। पॉफिर्म एम का पास्तप में यही मर्य किमो किस करा किया गया हो। जब पतीही प्रमाण मान लिया तब फिरकर्म सब से परिसे किस महार माना जा सकता। / प्रम-तोया फिर परिसेनीय पारे / PERMERGRE E NERA EEEEEEEEE2EEB REVानापमान