Book Title: Agam 06 Nayadhammakahao Shashtam Angsuttam Mulam PDF File
Author(s): Dipratnasagar, Deepratnasagar
Publisher: Deepratnasagar
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चूडामणि रयणुक्कडं मउडं-पिणद्धेति पिनद्धेत्ता गंथिम - वेढिम- पूरिम- संघाइमेणं- चउव्विहेणं मल्लणं कप्परुक्खगं पिव अलंकिय-विभूसियं करेंति ।
तणं से सेणिए राया कोडुंबियपुरिसे सद्यावेइ सद्यावेत्ता एवं वयासी- खिप्पामेव भो देवाणुप्पिया! अणेगखंभसय-सण्णिविट्टं लीलट्ठिय-सालभंजियागं ईहामियउसभ-तुरय-नर-मगर- विहग-वालगकिन्नर-रुरु-सरभ-चमर-कुंजर-वण-लय-पठमलय-भत्तित्तं घंटावलि - महुर-मणहरसरं सुभ-कंत-दरिसणिज्जं
निउणोविय- मिसिमिसेंत मणिरयणघंडियाजालपरिक्खित्तं अब्भुग्गय-वइरवेड्या-परिगयाभिरामं विज्जाहरजमल-जंतजुत्तं पिव अच्चीसहस्समालणीयं रूवगसहस्सकलियं भिसमाणं भिब्भिमाणं चक्खुल्लोयणसेल्लं सुहफासं सस्सिरीयरूवं सिग्धं तुरियं चवलं वेइयं पुरिससहस्सवाहिणीयं सीयं उवट्ठवेह तए णं ते कोडुंबियपुरिसा हट्ठतुट्ठा अणेगखंभसय-सण्णिविट्ठे जाव सीयं उवट्ठवँति ।
तए णं से मेहे कुमारे सीयं दुरुहइ दुरुहित्ता सीहासणवरगए पुरत्थाभिमुहे सणसणे णं तस्स मेहस्स कुमारस्स माया ण्हाया कय-बलिकम्मा जाव अप्पमहग्घाभरणालंकियसरीरा सीयं दुरुहइ सुयक्खंधो-१, अज्झयणं-१
दुरुहित्ता मेहस्स कुमारस्स दाहिणेपासे भद्दासणंसि निसीयइ, तए णं तस्स मेहस्स कुमारस्स अंबधाई रयहरणं च पडिग्गहं च गहाय सीयं दुरिहइ दुरुहित्ता मेहस्स कुमारस्स वामपासे भद्दासणंसि निसीयइ । तणं तस्स मेहस्स कुमारस्स पिट्ठओ एगा वरतरुणी सिंगारागरचारुवेसा संगय-गय- हसियभणिय-चेट्ठिय-विलास-संलावुल्लावनिउणजुत्तोवयार कुसला आमेलगजमल-जुयलवट्टिय-अब्भुण्णय- पीणरइय-संठिय-पओहरा हिम- रइय- कुंदेदुपगासं सकोरेंटमल्लदामं धवलं आयवत्तं गहाय सलीलं ओहारेमाणीओहारेमाणी चिट्ठइ, तए णं तस्स मेहस्स कुमारस्स दुवे वरतरुणीओ सिंगाररागारचारुवेसाओ जाव कुसलाओ सीयं दुरुहंति दुरुहित्ता मेहस्स कुमारस्स उभओ पासं नाणामणिकणग-रयणमहरिहतवणिज्जुज्जल-विचित्तदंडाओ चिल्लियाओ सुकुमवरदीहवालाओ संखकुंददगरय-अमयमहियफेणपुंजसणगासाओ चामराओ गहाय सलीलं ओहारेमाणीओ - ओहारेमाणीओ चिट्ठति ।
तए णं तस्स मेहस्स कुमारस्स एगा वरतरुणी सिंगारा- जाव कुसला सीयं दुरूहइ दुरूहिता मेहस्स कुमारस्स पुरओ पुरत्थिमे णं चंदप्पभवइर-वेरुलिय- विमलदंडं तालियंटं गहाय चिट्ठइ तए णं तस्स मेहस्स कुमारस्स एगा वरतरुणी जाव कुसला सीयं दुरुहइ दुरिहित्ता मेहस्स कुमारस्स पुव्वदक्खिणे णं सेयं रययामयं विमलसलि पुन्नं मत्तगयमहामुहाकितिसमाणं भिंगारं गहाय चिट्ठइ तए णं तस्स मेहस्स कुमारस्स पिया कोडुंबिपुरिसे सद्दावेइ सद्यावेत्ता एवं वयासी
खिप्पामेव भो देवणुप्पिया ! सरिसयाणं सरित्तयाणं सरिव्वयाणं एगाभरण-गहिय-निज्जोयाणं कोडुंबियवरतरुणाणं सहस्सं सद्दावेह जाव सद्दावेंति, तए णं ते कोडुंबियवरतरुणपुरिसा सेणियस्स रणो कोडुंबियपुरिसेहिं सद्दाविया समाणा हट्ठा ण्हाया जाव सव्वालंकारविभूसिया एगाभरण-गहियणिज्जोया जेणामेव सेणिए राया तेणामेव उवागच्छिंति उवागच्छित्ता सेणियं रायं एवं वयासी - संदिसह णं देवाणुप्पिया जं णं अम्हेहिं करणिज्जं ।
तणं से सेणि राया तं कोडुंबिय वरतरुणसहस्सं एवं वयासी- गच्छह णं तुब्भे देवाणुप्पिया मेहस्स कुमारस्स पुरिससहस्सवाहिणीयं सीयं परिवहेह तए णं तं कोडुंबियवरतरुणसहस्सं सेणिएण रण्णा एवं वत्तं संतं हट्ठे मेहस्स कुमारस्स पुरिससहस्सवाहिणीयं सीयं परिवहइ, तए णं तस्स मेहस्स कुमारस्स पुरिससहस्सवाहिणीयं सीयं दुरूढस्स समाणस्स इमे अट्ठट्ठमंगलया तप्पढमयाए पुरओ [दीपरत्नसागर संशोधितः]
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[६-नायाधम्मकहाओ]
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