Book Title: Mahakavi Bramha Raymal Evam Bhattarak Tribhuvan Kirti Vyaktitva Evam Krutitva
Author(s): Kasturchand Kasliwal
Publisher: Mahavir Granth Academy Jaipur
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प्रदेश, ग्राम, मगर वर्णन
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पादितपुर
सुमेरू के दक्षिण दिशा की ओर स्थित विद्याधरों का नगर था। नगर अपनी प्राकृतिक सौन्दर्य के लिये विख्यात था । पवनकुमार का पिता प्रहलाद इसी नगर का शासक था।
बसन्त नगर
सुमेरू के पूर्व दिशा की पोर स्थित विद्याघरों का दूसरा नगर । महेन्द्र इसी का शासक था । अंजना उसकी पुत्री थी। पडरीक
विदेह क्षेत्र का नगर जहाँ सीमन्धर स्वामी शाश्वत विराज कर धर्मोपदेश का पान कराते रहते हैं। लंका
भारत के दक्षिण की अोर स्थित लंका द्वीप बहु चिल द्वीप है। रावण यहाँ का राजा था। उसने सीता का अपहरण करके इसी द्वीप में लाकर रस्ना था । हनुमंत कथा में ब्रह्म रायमल्ल ने लंका वर्णन किया है। यह द्वीप त्रिकुटाचल पर्व की तलहटी में स्थित है ।' हस्तिनागपुर
हस्तिनापुर का ही दूसरा नाम है । यह नगर कुरूजांगल देश की राजधानी थी। ब्रह्म रायमल्ल ने इस नगर को स्वर्ग की नगरी के समान लिया है और उसका निम्न प्रकार विस्तृत वर्णन किया है। -
उत्तम कुर जंगल को देस, भली वस्त सहू भरिउ प्रसेस । वस्तु मनोहर लाहि जे घणी, पुजं तहां रली मन सणी । तह मैं हस्तनागपुर थान, सोभा जैसी सुर्ग धिमान । बाग बावडी तहो सोभा घणों, वृक्ष जाति बहु जाई न गिणों । मुनिवर नाथ धरे तहां इमाम, जाणे सोनो तिणो समान । परिगह संगत वा ईस, कर ध्यान प्रति महा जगीस ।। १११६
१. पद्मपुराण ५.१६७ ।
२. विष्यदत्तचौपई ।