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क्रमांक | प्रतिष्ठा सम्वत् माह, तिथि, दिन | लेख का स्वरूप
प्राप्तिस्थान
सन्दर्भग्रन्थ १३९. | १५२६ माघ वदि ७ सोमवार शीतलनाथ की प्रतिमा पर । आदिनाथ जिनालय, जै.धा.प्र.ले.सं., भाग १,
उत्कीर्ण लेख
बडनगर
लेखांक ५४३ एवं अंले.सं.,
लेखांक १५१. नोट : आचार्य बुद्धिसागरसूरि ने वि.सं. १५२६ माघ वदि ७ के उक्त प्रतिमालेखों में श्रेयांसनाथ की प्रतिमा पर प्रतिष्ठा दिवस बुधवार और
शीतलनाथ की प्रतिमा पर प्रतिष्ठास्थान दिवस सोमवार बतलाया है। यह निश्चित रूप से संग्राहक की भूल है क्योंकि एक ही माह के एक ही पक्ष की एक ही तिथि दो अलग-अलग दिवस होना असम्भव है। अंचलगच्छीय लेख संग्रह के सम्पादक श्रीपार्श्व ने भी इस भूल का परिमार्जन करने की जगह उक्त भूल दुहराई ही है। द्रष्टव्य- अंचलगच्छीय लेख संग्रह, लेखांक १५१ और १५२, उक्त तिथि को
वस्तुतः कौन सा दिन था, इसका निर्णय तो प्रतिमालेख के मूलपाठ को देखने के पश्चात् ही सम्भव है। क्रमांक | प्रतिष्ठा सम्वत् माह, तिथि, दिन लेख का स्वरूप प्राप्तिस्थान
सन्दर्भग्रन्य १४०. १५२७ | आषाढ सुदि गुरुवार मुनि सुव्रत की प्रतिमा पर आदिनाथ जिनालय, | जै.ले.सं., भाग २, लेखांक
उत्कीर्ण लेख
दफ्तरियों का मुहल्ला, १३१६ एवं अंले.सं., नागौर,
लेखांक १५५, ४२५ तथा
प्र.ले.सं., लेखांक ६८८ १४१. | १५२७ आषाढ़ सुदि १० बुधवार श्रेयांसनाथ की प्रतिमा पर वीर जिनालय, लखनऊ जै.ले.सं., भाग २, लेखांक उत्कीर्ण लेख
१६०९ तथा अंले.सं., लेखांक १५६.
अचलगच्छ का इतिहास
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