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विषयानुक्रमणिका
शतक-१
११४
११८
पणन
विषय
__ पृष्ठ : विषय उद्देशक १
उद्देशक २ १ मंगलाचरण
१ २२ स्वकृत कर्म वेदना २ प्रथम शतक उद्देशक परिचय -५ | २३ नैरयिक सम्बन्धी विचार ३ वीर स्तुति
२४ नैरयिकों के समर्म आदि ४ इन्द्रभूतिजी की महानता . १३ प्रश्नोत्तर ५ गौतमस्वामी की जिज्ञासा १७ २५ नैरयिकों के समवेदना आदि १२१ ६ प्रथम उद्देशक प्रारंभ-चलमाणे २६ असुरकुमारादि में समाहारादि १.२७ चलिए
२७ पृथ्वीकायिक में आहारादि १३१ ७ नारक जीवों की स्थिति आदि का २८ बेइन्द्रियादि जीवों का वर्णन १३४ . वर्णन
२९ मनुष्य के आरंभिकी आदि क्रिया १३७ ८ भेद चयादि सूत्र
३० देवों का वर्णन ९ काल चलितादि सूत्र
१४१ ३१ लेश्या
१४२ १० असुरकुमार देवों का वर्णन . ५७
३२ संसार संस्थान काल ११ नागकुमार देवों का वर्णन ६२
३३ अंतक्रिया १२ पृथ्वीकाय आदि का वर्णन ६६
३४ उपपात १३ बेइन्द्रिय जीवों का वर्णन ७३
३५ असंज्ञी जीवों का १४ तेइन्द्रियादि जीवों का वर्णन १५ पंचेन्द्रिय तिर्यंच और मनुष्य का
उद्देशक वर्णन
| ३६ कांक्षामोहनीय १६.वाणव्यन रादि का वर्णन ८१ ३७ कांक्षामोहनीय वेदन १७ आत्मारंभ परारंभ
| ३८ अस्तित्व और नास्तित्व ... १८ ज्ञानादि सम्बन्धी प्रश्नोत्तर ९२ | ३९ कांक्षामोहनीय के बन्धनादि १९ असंवृत्त अनगार. २० संवृत्त अनगार
उद्देशक ४ २१ असंयतजीव की गति १०१।४० कर्म प्रकृतियां
२०३
१४५
१५१
७७
६३
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