Book Title: Agam 02 Ang 02 Sutrakrutang Sutra
Author(s): Dungarshi Maharaj
Publisher: Anilkant Batukbhai Bharwada
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પની
લીટી
પાના
લીટી
२४
૧૯૯ ૧૯૯ १८८
१८
અશુદ્ધિ जोणियाण रोहण ज विमकखाय विकट मत,
૧૪ ૨૮
जोणियाण रोहाण जावमकखाय विकड मत तमि अज्झा मकखाय
૨૧૭ ૨૧૮ ૨૨૧ ૨૨૩ ૨૨૪ ૨૨૭
૨૫
पुणे
तेमि
कोह
२.०० २०० २००
अज्झ मकखाय
१०
૧૦
૨૨૯ 230
२.००
"
૨૧
M
सठ्ठत्ताए जाय
सछत्ताए जाव
૨૩૨.
२०२
उ१
૨૩૨
AM
कायातेतो
कायातो
२०३ २03 २०८ २०४
શુદ્ધિ एगतवाले एगतवाले अपिरिए अकिरिए अळुवलित अणुवलित्ते पुणो
कोई समियायारा समियाचारा दाडेवर्णमन्न दोऽवण्णमन्न वीकायय वीयकाय अळागार अणगार रायरायालि- रायामिओगेण
मिओळेग वायुपने
नायपुत्ते तारमि तारिस विवाभागे जीवाणुभागे भिज्जति मिज्जति महामवोध महाभवोध होत्या
होत्या वाहिरिया बाहिरिया अििठमिजा अट्ठिमिजा वाहिरियाए वाहिरियाए वासग
वासग
विथ तसि
तेसि ट्ठया ठ्ठिया
पुढ़वी
पुढवी
जहावीएण
૩૧ ૨૧
२२.
आपु
२०॥ २०॥
233 ૨૩૬ ૨૩૬ ૨૩૯ ૨૪૧ ૨૪૨
अहावीएण आणु वणस्मई महावीएण
२०६
बळम्म अहावलीएण नवितेमुतु वायसगह्यि
२०८ २०८
वायसगहिय उदगजोणिएसु
૨૪૨ ૨૪ર.
उदए
अहावर नयावराळ
महावर तमयावरण
२७
५० ૧૨
पिय
a ca & F४ = & & *
पुडवी
2314 210 ૨૧૫ २१॥ ૨૧૫
पुडवी
चोयल हव
૨૪૩ ૨૪૪ ૨૪૪ ૨૪૧૫ २४८ ૨૫૦ ૨૫૪ ૨૫૮ ૨૫૯
१४
सभु
चोइए एव किच्च करे अपस्सओ
समु સવ
किच
23
करपेड अधस्सओ
२५६
સર્વ अकरण एतसि
अकराण एनेसि
१२

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