Book Title: Mandavgadh Ka Mantri Pethad Kumar Parichay
Author(s): Hansvijay
Publisher: Hansvijay Jain Free Library
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श्री सोमतिलकसू रिपादैविरचितं श्रीमंम्पर्गमंत्री पृथ्वीधर (पेथमकुमार) साधुकारित
चैत्यस्तोत्रम्..
श्री पृथ्वीधरसाधुना सुविधिना दीनादिषु दानिना भक्तश्रीजयसिंहभूमिपतिना स्वौचित्यसत्यापिना। . अद्भक्तिपुषा गुरुक्रमजुषा मिथ्यामनोषामुषा सच्छीलादिपवित्रितात्मजनुषा प्रायःमणश्यद्रुषा ॥१॥ नैका पौषधशालिकाः सुविपुला निर्मापयित्रा सता मन्त्रस्तोत्रविदीर्णलिङ्गविकृतश्रीपार्षपूजायुजा। विद्युन्मालिसुपर्वनिर्मितलसद्देवाधिदेवाव्हयख्यातज्ञाततनूरुहमतिकृतिस्फूर्जत्सपर्यासजा ॥२॥ त्रिकाले जिनराजपूजन विधि नित्यं द्विरावश्यक साधौ धार्मिकमात्रकेऽपि महतीं भक्तिं विरक्तिं भवे । तन्वानेन सुपर्वपौषधवता साधर्मिकाणां सदा वैयारत्यविधायिना विदधता वात्सल्यमुच्चैर्मुदा ॥३॥

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