Book Title: Agam 39 Mahanisiham Chattham Cheyasuttam Mulam PDF File
Author(s): Dipratnasagar, Deepratnasagar
Publisher: Deepratnasagar

Previous | Next

Page 55
________________ - - - [६१७] धाउपहाणो कंचनभावं न य गच्छई किया-हीणो एवं भव्वो वि जिनोवएस-हीनो न बुज्झेज्जा ।। [६१८] गय-राग-दोस-मोहा धम्म-कहं जे करेंति समयण्णू अनुदियहमवीसंता सव्वपावाण मुच्चंति ।। य भयणिज्जं एगंतं निज्जरं कहताणं जइ अन्नहा न सुत्तं अत्थं वा किंचि वाएज्जा ।। ६२०] एएणं अद्वेणं गोयमा ! एवं वच्चइ जहा णं जावज्जीवं अभिग्गहेणं चाउक्कालियं सज्झायं कायव्वंति, तहा य गोयमा ! जे भिक्खू विहीए सुपसत्थनाणमहिज्जेऊण नाणमयं करेज्जा, से वि नाण-कुसीले, एवमाइ नाण-कुसीले अनेगहा पन्नविज्जंति । अज्झयणं-३, उद्देसो [६२१] से भयवं! कयरे ते दंसण-कुसीले ? गोयमा! दंसण-कुसीले दुविहे नेए आगमओ नो आगमओ य तत्थ आगमओ सम्म-दंसणं, संकंते कंखंते विदुगुंछते दिट्ठीमोहं गच्छंते अणोववूहए परिवडियधम्मसद्धे सामण्णमुज्झिउकामाणं अथिरीकरणेणं साहम्मियाणं अवच्छल्लत्तणेणं अप्पभावनाए, एत्तेहिं अट्ठहिं पि थाणंतरेहिं कुसीले नेए | [६२२] नो आगमओ य दंसण-कुसीले अनेगहा तं जहा-चक्खु-कुसीले घाण-कुसीले सवणकुसीले जिब्भ-कुसीले सरीर-कुसीले तत्थ चक्खुकुसीले तिविहे नेए तं जहा-पसत्थ-चक्खु-कुसीले पसत्थापसत्थ-चक्खु-कुसीले अपसत्थ-चक्खुकुसीले जत्थ-जे केइ-पसत्थं उसभादि-तित्थयर-बिंबं-पुरओ चक्खु-गोयर-ट्ठियं तमेव पासेमाणे अन्नं किं पि मनसा अपसत्थमज्झवसे से णं पसत्थ-चक्खु-कुसीले, तहा जे पसत्थापसत्थ-चक्ख-कसीले तित्थयर-बिंबं हियएणं अच्छीहिं-किं पि पेहेज्जा से णं पसत्थापसत्थ चक्खु-कुसीले तहा पसत्थापसत्थाई दव्वाइं काग बग-टेंक-तित्तिर-मयूराइं सुकंत-दित्तित्थियं वा द₹णं तयहुत्तं चक्खू विसज्जे से वि पसत्थापसत्थ-चक्खु-कुसीले, तहा अपसत्थ-चक्खु-कुसीले तिसहिहिं पयारेहिं अपसत्था सरागा चक्खू त्ति | से भयवं! कयरे ते अपसत्थे तिसट्ठी-चक्खु-भेए? गोयमा! इमे तं जहा सब्भू कडक्खा, तारा, मंदा, मंदालसा, वंका, विवंका, कुसीला, अद्धिक्खिया, काणिक्खिया, भामिया, उब्भामिया, चलिया, वलिया, चलवलिया, उखुम्मिल्ला, मिलिमिला, मानुसा, पासवा, पक्खा, सरीसिवा, असंता, अपसंता, अथिरा, बहुविगारा, सानुरागा, रागो, ईरणी, रागजण्णा, मयुप्पायणी, मयणी, मोहणी, वम्मोहणी, भओइरणी, भयजण्णा, भयंकरी, हियय-भेयणी, संसयावहरणी, चित्त-चमक्कुप्पायणी, निबद्धा, अनिबद्धा, गया, आगया, गयागया, गय-पच्चागया, निद्धाडणी, अहिलसणी, अरइकरा, रइकरा, दीना, दयावणा, सरा, धरा, हणणी, मारणी, तावणी, संतावणी कुद्धापकुद्धा, घोरामहा-धोरा, चंडा, रोद्दा, सुरोद्दा, हा हा भूयसरणा, रुक्खा, सणिद्धा, रुक्खसणिद्ध त्ति । ____ महिला णं चलणंगुट्ठ-कोडी-नह-कर-सुविलिहिया दिन्नालत्तं गायं च नह-मणि-किरणनिबद्धसक्क-चावं कुम्मुण्णय-चलणं सम्मग्ग-निमुग्ग-वट्ट-गूढजाणुं, जंघा-पिहल-कड़ियड-भोगा जहण-नियंबनाही थण-गुज्झंतर कट्ठा-भूया-लट्ठीओ अहरोट्ठ-दसणपंती कण्ण-नासा नयन-जुयल भमुहा-निडाल-सिररुहसीमंतया-मोडया-पट्टतिलगं-कुंडल-कवोलकज्जल-तमाल-कलाव-हार-कडि-सुत्तगणेउरर-बहुरक्खग-मणि-रयण दीपरत्नसागर संशोधितः] [54] [३९-महानिसीह

Loading...

Page Navigation
1 ... 53 54 55 56 57 58 59 60 61 62 63 64 65 66 67 68 69 70 71 72 73 74 75 76 77 78 79 80 81 82 83 84 85 86 87 88 89 90 91 92 93 94 95 96 97 98 99 100 101 102 103 104 105 106 107 108 109 110 111 112 113 114 115 116 117 118 119 120 121 122 123 124 125 126 127 128 129 130 131 132 133 134 135 136 137 138 139 140 141 142 143 144 145 146 147 148 149 150 151 152 153