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जम्बूद्वीप प्रज्ञप्ति-सूची
वक्ष० ४ सूत्र १०६.
ज- भद्रशाल वन का स्थान
के आयत और विस्तार की दिशा के आठ विभाग का आयाम-विष्कम्भ की पद्मवर वेदिका और वनखण्ड के देवताओं का क्रीडा स्थल
सिद्धायतन का आयाम-विष्कम्भ और ऊँचाई चार दिशाओं में चार सिद्धायतन सिद्धायतनों के द्वार, द्वारों की ऊँचाई और विष्कम्भ मणिपीठिका का आयाम-विष्कम्भ और बाहल्य देवछन्दक वर्णन, जिनप्रतिमा वर्णन
चार दिशाओं की नंदा पुष्करिणियों का वर्णन १०४ क- नंदन वन का स्थान
" का चक्रवाल विष्कम्भ ग- " के अन्दर, बाहर का विष्कम्भ घ- नंदन वन में नवकूटों वर्णन
ङ- शेष वर्णन भद्रशाल वन के समान १०५ क- सोमनस वन का स्थान
" का चक्रवाल विष्कम्भ ग- " का अन्दर-बाहर का विष्कम्भ घ- इस वन में कूट नहीं है ङ.- शेष वर्णन नंदन वन के समान
पंडक वन का स्थान ख- " का चक्रवाल विष्कम्भ
" की परिधि घ- मेरु चूलिका का मध्य भाग
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