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उत्तराध्ययन-सूची
८२-६१
२-१०६
२४६
२५०
२५१
२५२
८२०
१०७
१०८-११६ तेजस्काय और तेजस्कायिक जीवों का वर्णन ११७-१२५ वायुकाय और वायुकायिक जीवों का वर्णन १२६ उदार त्रस जीवों के चार भेद १२७- १३५ द्वीन्द्रिय जीवों का वर्णन १३६-१४४ त्रीन्द्रिय जीवों का वर्णन १४५-१५४ चतुरिन्द्रिय जीवों का वर्णन १५५
क- पंचेन्द्रिय जीवों का वर्णन ख- पंचेन्द्रिय जीवों के चार भेद १५६ - १६६ नैरयिक जीवों का वर्णन १७०-१६३ पंचेन्द्रिय तिर्यंचों का वर्णन १९४ - २०२ मनुष्यों का वर्णन २०३-२४८ चार प्रकार के देवों का वर्णन
२५७
२५८
२५६
२६०
२६१
२६२
२६३
अकाय और अप्कायिक जीवों का वर्णन वनस्पतिकाय और वनस्पति कायिक जीवों का वर्णन त्रस जीवों के तीन भेद
उपसंहार
नयों की अपेक्षा से जीव अजीव का ज्ञान संलेखना का विधान
संलेखना के तीन भेद
२५३-२५६ उत्कृष्ट संलेखना का वर्णन
अ० ३६ गाथा २६३
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अशुभ भावनाओं से दुर्गति और विराधना दुर्लभ बोधि जीव
सुलभ बोधि जीव
दुर्लभ बोधि जीवन
जिन वचनों पर श्रद्धा करने का फल जिन वचनों पर अश्रद्धा करने का फल
आलोचना सुनने के योग्य अधिकारी
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