Book Title: Vastu Chintamani
Author(s): Devnandi Maharaj, Narendrakumar Badjatya
Publisher: Pragnyashraman Digambar Jain Sanskruti Nyas Nagpur
View full book text
________________
150
उपरोक्त सभी प्रकरणों में फर्श पर चढ़ने पर अनुकूल दिशा में प्रवेश करें। स. गोल सीढ़ियां
सीढ़ी का स्थान
पूर्व
पश्चिम
उत्तर
दक्षिण
सीढ़ी का प्रवेश
पूर्वी बालकनी
पश्चिमी बालकनी
उत्तरी बालकनी
दक्षिणी बालकनी
सीढ़ी का
स्थान
वास्तु चिन्तामणि
पूर्वी आग्नेय
| दक्षिणी नैऋत्य
पश्चिमी नैऋत्य
उत्तरी वायव्य
नोट- गोल सीढ़ियां ईशान में न बनाएं। नैऋत्य में बनाना हो तो गड्ढा न रखें। गड्ढा रखना अपरिहार्य हो तो नैऋत्य कोण से कुल उत्कर सीढ़ियां निर्माण करना उपयुक्त है।
प्रवेश दिशा
पूर्वी आग्नेय
पश्चिमी नैॠत्य
द. सोपान स्थान के अनुसार संकेत
फर्श पर
चढ़ाव
प्रवेश
उत्तर से दक्षिण
पूर्वी भाग
पूर्व से पश्चिम दक्षिणी आग्नेय
उत्तर से दक्षिण पश्चिमी वायव्य
पूर्व से पश्चिम, उत्तरी ईशान
वायव्य
दक्षिणी नैऋत्य
बालकनी बालकनी
आवश्यक वांछनीय
उत्तर
उत्तर
उत्तर
उत्तर
--
पूर्व
पूर्व
पूर्व