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भगवती सूत्र-श. ३३ अवान्तर शतक १०-१२
अचरम' ऐसे दो विभाग नहीं होते । अतएव ये दो उद्देशक छोड़ने से इस शप्तक में नौ उद्देशक ही होते हैं ।
॥ तेतीसवें शतक का नौवां अवान्तर शतक सम्पूर्ण ॥
अवांतर शतक १०
-एवं कण्हलेस्सअवसिद्धियएगिदियसयं पि।
॥ दसमं एगिदियसयं समत्तं ।। भावार्थ-इसी प्रकार कृष्णलेश्या वाले अभवसिद्धिक एकेन्द्रिय का शतक भी। ॥ तेत्तीसवें शतक का दसवां अवान्तर शतक सम्पूर्ण ॥
अवांतर शतक ११ -णीललेस्सअभवसिद्धियएगिदियहि वि सयं ।
॥इस्कारसमं एगिदियसयं समत्तं ॥ भावार्थ-इसी प्रकार नीललेश्या वाले अभवसिद्धिक एकेन्द्रिय का शतक भी कहना चाहिये।
॥ तेतीसवें शतक का ग्यारहवां अवान्तर शतक सम्पूर्ण ॥
अवांतर शतक १२
-काउलेस्सअभवसिद्धियसयं, एवं चचारि वि अभवसिद्धियसयाणि,
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