Book Title: Shraddhey Ke Prati
Author(s): Tulsi Acharya, Sagarmalmuni, Mahendramuni
Publisher: Atmaram and Sons

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Page 45
________________ घोर इस कलियुग में, हम सतयुग की लहरें लाएंगे, भाव हो जन-जन के मन में, प्रण सफलता पायंगे, पूज्य भिक्षु प्रसाद 'तुलसी' हृदय का अरमान है ||७|| ३२] वि० सं० २००५, मर्यादा- महोत्सव, राजलदेशर ( राज० ) [ श्रद्धेय के प्रति

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