Book Title: Hastlikhit Granthsuchi Part 3
Author(s): Jambuvijay
Publisher: Stambhan Parshwanath Jain Trith Anand

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Page 48
________________ ३१ विद्वान उपरथी कृति माहिती भक्तपरिज्ञाप्रकीर्णक-(सं.)टिप्पण। सं. (तालाद३८९) भक्तपरिज्ञाप्रकीर्णक-(सं.)अवचूरि। सं. भृञ् धातुर्धारण (पाकाहेम१००८६, भांका१६८, भांका१९२, भांका३०१) भक्तपरिज्ञाप्रकीर्णक-(सं.)टीका सं. (पाकाहेम१०४२८) भक्तामरस्तोत्र-(सं.)अवचूरि। सं. (पाकाहेम१०१८९, पाकाहेम१२३७९) भक्तामरस्तोत्र-(मा.गु.)बालावबोध मागु. (पाकाहेम१०६५३) भक्तिस्तोत्र सं. श्लोक२० (पाकाहेम७३०७) भगवती आराधना\ प्रा. (भांका१७७, भांका१९३) भगवती आराधना-(सं.)टीका\ सं. (भांका१७७) भगवतीसूत्र-(सं.)पर्याय। सं. (जेताजि१४७, पाकाहेम७१११) भगवतीसूत्र-(प्रा.)चूर्णी\ प्रा. श्लोक३००० (पाकाहेम८५४, पाकाहेम६५३१, पाकाहेम६५४९, पाकाहेम६७३१, पाकाहेम९९९९) भगवतीसूत्र-(सं.)टिप्पनक\ सं. (पाकाहेम७४४२) भगवतीसूत्रनी (सं.)टीकानो हिस्सो पुद्गलषट्विशिका-(सं.)अवचूरि। सं. (पाकाहेम१५८०९) भगवतीसूत्र-(सं.)अवचूर्णि\ सं. ग्रं.३००० (पाकाहेम६५३२) भगवतीसूत्र-(सं.)अवचूर्णि\ सं. ग्रं.३११४। तेणं कालेणं...अ (भांका२५७) भगवतीसूत्र-(प्रा.)भगवत्यङ्गयन्त्री प्रा. पठमसए उद्देसा १ (भांता७०) भगवतीसूत्र-(सं.)बीजक सं. (पाकाहेम१५४१९) भगवतीसूत्र-(प्रा.+सं.)आलापकसङ्ग्रह प्रा.,सं.। अरहन्त सिद्ध पव (भांता७०) भगवतीसूत्र-(प्रा.)दण्डकी प्रा. अहाकम्मणं भुञ्ज (भांता७०) भगवद्गीता सं. (जेताजि३८८, पाकाहेम८६६७) भङ्गकगाथा। प्रा. गा.६०\ पढमवए छब्भङ्गा (भांता७०) भयस्थितिस्तव-(सं.)अवचूरि। सं. (पाकाहेम१५८०९) भयहरस्तोत्र-(सं.)अवचूरि। सं. (पाकाहेम१२३७९) भयहरस्तोत्र-(सं.)टीका। सं. (पाकाहेम१२१५०, भांका२०२, भांका२४३) भयहरस्तोत्र प्रा. गा.१४\ जमजरमरणदररोयभयद (पाताहेसं१६८, भांता७२) भरतकथा। सं. श्लोक२६ (पाकाहेम४००१) भरतचक्रियात्राप्रबन्ध सं. श्लोक३८ (पाकाहेम२०९७) भरतनटादिकथाओ-औत्पत्तिक्यादिबुद्धिविषये। सं. (पाकाहेम१४९५८) भरहेसरबाहुबलिसज्झाय प्रा. गा.१२ (पाकाहेम७३०७) भवभावनाप्रकरण-(सं.)सङ्क्षिप्तवृत्ति सं. श्लोक४७२१ (पाकाहेम१४८९७) भवभावनाप्रकरण-(सं.)अवचूरि। सं. (भांका११९) भवभावनाप्रकरण-(सं.)अवचूरि। सं. (पाकाहेम२३२८) भववैराग्यशतक प्रा. (पाकाहेम१०६२५) भवस्थितिकुलक-(मा.गु.)बालावबोध\ मागु. (पाकाहेम४४७२) भव्यजीवमनोरथ प्रा. गा.१२ (पातासंघवी५९-३) भारतीस्तोत्र सं. श्लोक९। राजते श्रीमती द (पाकाहेम१३१७१) भावनाकुलक प्रा. गा.२३ संसारविसमसायर भ (पाताहेसं१८९, खंता१३८) भावनाकुलक प्रा. गा.५ रे जीव पावकम्मय (पातासंघवी१४५-१) भावनाकुलक\ प्रा. गा.२६\ पढमन्ति जिणवराण (पाताहेसं१६८) भावनाकुलक\ प्रा. गा.२२ (पाताखेत४४-१) भावनात्मक देवगुर्वादिवर्णन\ सं. (पाकाहेम८३८८) भावनाप्रकरणी प्रा. गा.१८५ (पातासंघवी१८१-१) भावनाप्रकरण प्रा. गा.२०८ (पातासंघवी१८४-१, खंता१२०) भावनाप्रकरण प्रा. सवयरे भगवन्ते (पातासंघवीजीर्ण४६) भावनाविषये ईलातीपुत्रकथा। प्रा. श्लोक६८ (पातासंघवी१२९)

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