Book Title: Agarwal Jati Ka Prachin Itihas
Author(s): Satyaketu Vidyalankar
Publisher: Akhil Bharatvarshiya Marwadi Agarwal Jatiya Kosh
View full book text
________________
Shri Mahavir Jain Aradhana Kendra
www.kobatirth.org
Acharya Shri Kailassagarsuri Gyanmandir
आग्रंय गण का संस्थापक राजा अग्रसेन
अग्रसेन की जो कथा हमने ऊपर दी है, उसके कुछ भाग ऐतिहासिक नहीं कहे जा मकतं । इन्द्र के साथ युद्ध, महालक्ष्मी का प्रकट होना
आदि बातें शायद आलंकारिक व कल्पनात्मक हैं। भारत की अन्य प्राचीन ऐतिहासिक अनुश्रुति के समान राजा अग्रसेन की कथा भी पौराणिक शैली में लिखी गई है । यदि पुराणों की शैली को दृष्टि में रक्खा जाय, तो 'अग्रवैश्य वंशानुकीर्तनम्' व 'उरुचरितम्' की कथा में कोई भी बात असाधारण व अद्भुत प्रतीत न होगी । इस कथा में से ऐतिहासिक सचाई को पृथक कर लेना कोई भी कठिन बात नहीं है ।
For Private and Personal Use Only